Book Title: Jyotishsara Prakrit
Author(s): Bhagwandas Jain
Publisher: Bhagwandas Jain

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Page 21
________________ धनुर्मनि वृषकुंभे मेष कर्के ... ... हिन्दी भाषाटीका समेतः I कुंभधनुषि मेष मिथुने तुलसिंहे रविदग्धा तिथिः मिथुनकन्ये सिंह वृश्चिके तुला मकरे ४ ... चन्द्रदग्धा तिथि- कुंभ धणे ससि बीया, मेषे मिथुने हि चंद चउत्थीया । अट्ठमिया ॥ १५ ॥ सिंह तुले हि छठ्ठी, मीने मकरे हि करके विस ससि दसमी, विच्छि कन्नाइ बारसी तिहिया । कज्जे य सव्वे वज्जं, ससिदद्धा एहि सड तिहिया ।। १६ ।। भावार्थ - धन और कुंभका चंद्रमा हो तो दूज, मेष और मिथुनका चन्द्रमा हो तो चौथ, सिंह और तुला का चन्द्रमा हो तो छट्ट, मीन और मकर का चन्द्रमा हो तो आठम, कर्क और वृषका चंद्रमा हो तो दशम, वृश्चिक और कन्या का चन्द्रमा हो तो बारस, इन छ तिथियों को चन्द्रदग्धा तिथि कहते है ये सभी शुभकार्यों में वर्जनीय है ॥ १५-१६ ॥ चन्द्रदग्धा तिथिः 1 ... : : : : २ मकरमीने ४ वृषकर्के ६ वृश्चिक कन्ये .... १० १२ 0.0 ८ १० १२

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