Book Title: Apbhramsa Pathavali Author(s): Madhusudan Chimanlal Modi Publisher: Gujarat Varnacular Society View full book textPage 8
________________ अनुक्रमणिका १. प्रास्ताविक विषय पान. निवेदनम् पान ५२. ८०. १०५. उपोद्घात भपभ्रंशम्याकरण उपसंहार २. छायासमेत मूल उधरणांक विषय कर्ता १. जलकीलावण्णणु. घउमुहु सयंभु. २. सीयदिव्वकहाणउ. तिहुयण संयंभु. ३. विराडनयरि पंडवई अण्णायवासु. चउमुहु संयंभु. ४. बलपण्हु तिहुयण सयंभु. ५. वसुएवघरच्चाउ पुप्फयंत ६. बंधुयत्ते चत्तहो भविसत्तहो तिलयदीवि हिंडी. धणवाल. ५. परमप्पप्पयासदोहासमुच्चउ जोइंदु ८. दोहापाहुड जोइंदु (2) ९. सावयायार जोइंदु (1) १०. सुजणदुज्जणसहावविवेयणु उज्जोयणसूरि ११. पुरुरवस्स उम्मायवयणाई १२. दोहाकोसोदरियगीयाई काण्ड १३. दोहाकोसोदरियगीयाई १४. पदण्णचंदाई ३. टिप्पणी ५. शब्दकोश संकेतसूचि शुद्धिपत्र १९. १२०. १३२. १३६. १४२. १४७. १५०. १५४. १-११२. १५०. १५२. १५६. TOPage Navigation
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