Book Title: Tirthankar Charitra
Author(s): Sumermal Muni
Publisher: Sumermal Muni

View full book text
Previous | Next

Page 16
________________ सताइसवा भव - भगवान् महावीर १७७ वैशाली का वैभव १७७, अवतरण १७८, गर्भ साहरण १७८, गर्भ में प्रतिज्ञा १७६, महावीर का जन्म १७६, इन्द्र की आशंका १७६, नगर में उत्सव १८०, बाल क्रीड़ा १८१, पाठशाला में १८१, विवाह १८२, दीक्षा १८२, प्रथम उपसर्ग १८४, उपसर्ग व कष्ट प्रधान साधना १८५, साधना का पहला वर्ष १८६, शूलपाणि यक्ष का उपद्रव १८७, स्वप्न-दर्शन १८७, साधना का दूसरा वर्ष १८८, चण्डकौशिक का उद्धार १८६, भगवान् का नौकारोहण १६०, धर्म चक्रवर्ती १६०, साधना का तीसरा वर्ष १६१, साधना का चौथा वर्ष १६१, साधना का पांचवां वर्ष १६१, साधना का छठा वर्ष १६२, साधना का सातवां वर्ष १६३, साधना का आठवां वर्ष १६३, साधना का नौवां वर्ष १६४, साधना का दसवां वर्ष १६४, साधना का ग्यारहवां वर्ष १६५, संगम के उपसर्ग १६५, जीर्ण सेठ की उत्कट भावना १६८, साधना का बारहवां वर्ष : चमरेन्द्र की शरण १६८, चंदना का उद्धार १६६, साधना का तेरहवां वर्ष : अंतिम भीषण उपसर्ग २००, केवल ज्ञान की प्राप्ति २०१, छद्मस्थ काल की साधना २०१, प्रथम देशना २०१, गणधरों की दीक्षा २०२, तीर्थ स्थापना २०४, सर्वज्ञता का दूसरा वर्ष : ऋषभदत्त व देवानंदा की दीक्षा २०४, सर्वज्ञता का तीसरा वर्ष २०४, सर्वज्ञता का चौथा वर्ष २०५, सर्वज्ञता का पांचवां वर्ष २०५, सर्वज्ञता का छठा वर्ष २०५, सर्वज्ञता का सातवां वर्ष २०६, सर्वज्ञता का आठवां वर्ष २०६, सर्वज्ञता का नौवां वर्ष २०७, सर्वज्ञता का दसवां वर्ष २०७, सर्वज्ञता का ग्यारहवां वर्ष २०७, सर्वज्ञता का बारहवां वर्ष २०७, सर्वज्ञता का तेरहवां वर्ष २०७, सर्वज्ञता का चौदहवां वर्ष २०८, सर्वज्ञता का पन्द्रहवा वर्ष २०८, गोशालक का मिथ्या प्रलाप २०८, भगवान् पर तेजोलेश्या का प्रयोग २१०, सिंह अणगार का रुदन २११, सर्वज्ञता का सोलहवां वर्ष २१२, सर्वज्ञता का सतरहवां वर्ष २१२, सर्वज्ञता का अठारहवां वर्ष २१२, सर्वज्ञता का उन्नीसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का बीसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का इक्कीसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का बाइसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का तेईसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का चौबीसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का पचीसवां वर्ष २१३, सर्वज्ञता का छब्बीसवां वर्ष २१४, सर्वज्ञता का सताइसवां वर्ष २१४, सर्वज्ञता का अट्ठाइसवां वर्ष २१४, सर्वज्ञता का उनतीसवां वर्ष २१४, सर्वज्ञता का तीसवां व अंतिम वर्ष २१४, संतिम प्रवचन २१४, इन्द्र द्वारा आयु-वृद्धि की प्रार्थना २१५, निर्वाण २१५, गौतम स्वामी को केवल ज्ञान २१६. शरीर का संस्कार २१६, तीर्थ के बारे में प्रश्न २१६, महावीर का अप्रतिहत प्रभाव २१७, महावीर के प्रमुख सिद्धांत २१७, जातिवाद का विरोध २१७, महावीर की आयु एवं चातुर्मास २१६, प्रभु का परिवार. झलक व कल्याणक २२०-२२१.

Loading...

Page Navigation
1 ... 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90 91 92 93 94 95 96 97 98 99 100 101 102 103 104 105 106 107 108 109 110 111 112 113 114 115 116 117 118 119 120 121 122 123 124 125 126 127 128 129 130 131 132 133 134 135 136 137 138 139 140 141 142 143 144 145 146 147 148 149 150 151 152 153 154 155 156 157 158 159 160 161 162 ... 242