Book Title: Kaudesh se Kundkund
Author(s): Yogesh Jain
Publisher: Mukti Comics

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Page 14
________________ मुक्ति कॉमिक्स (इसकी प्रखर बुद्धिएवं) ग्राही मस्तिष्क होने से अल्पनिद्रा स्वाभाविक है। मानसिक थकान से निद्रा आती है। तीक्ष्ण एवं जागृत बुद्धि होने से यह बालक निदा नहीं लेता किन्तु इसमें चिन्तित होने का कारण नहीं है। corrererea यह बालक तेजवान महापुरुष होगा सेठ। आपलोगोफा करना सत्य है किन्तू... किन्नु परन्तु कुछनहीं।) इतनी आयु में ऐसे शुभ लक्षणयुक्त शिशु को नहीं (देखा। तुम धन्य होसेठ!) ((((( त्त ((((((((((( नारसेहाआपने टम लोगों) को बुलाकर महा-उपकार किया है। ऐसे डाक के दर्शन कर हम कृतकृत्य हुए। हां ! हो । क्यों नहीं ? जो भविष्य में इसकेसम्पर्क में रहेंगेवेधन्यव परम सौभाग्यशाली टोंगे।

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