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________________ अक्षमा ह्रीपरित्यागः] श्लोकपादसूची [अक्षरश्च भवत्येषः अक्षमा ह्रीपरित्यागः 12. 152. 50. अक्षमीषां युगं चैव 7. App. 10. 10 pr. अक्षयक्षरमक्षरम् 7. 1082*. 2 post. अक्षयत्वात्प्रजनने 12. 306. 440. अक्षयश्च भवेत्स्वर्गः 3. 219.4. अक्षयश्चाप्रमेयश्च 12.339. 1 . अक्षयश्चाव्ययश्च ह 12.852*. 1 post. अक्षयश्चाव्ययश्चैव 5. 95. 20. 12. 318.51. 13. 16. 684 अक्षयस्तव लोकोऽयं 5. 121.. अक्षयं क्षपयेत्कश्चित् 7. 160.24. अक्षयं च कथं दानं 13. App. 14. 141 pr. अक्षयं च कुलं तेऽस्तु 13. 14. 69. अक्षयं च भवेदत्तं 13.61.920. अक्षयं चोपतिष्ठति 13. App. 14.55 post. अक्षय चोपपद्यते 13. App. 14.214A 1 post. अक्षयं तमनामयम् 12.313. 50. अक्षयं ददतो वित्तम् 7. App. 8. 431 pr. अक्षयं दुष्कृतं नित्यम् 13. App. 14.214A 4 pr. अक्षयं द्रव्यमुत्तमम् 14.7.26. अक्षयं धनमादाय 3. App. 24.94 pr. अक्षय धर्ममास्थितः 12. 306.526. अक्षयं नरकं याति 13. 65.50%. अक्षयं नियंलीकं च 13. App. 14. 148 pr. अक्षयं परमं पदम् 6. App. 3.6post. अक्षयं पावनं चैव 13. 389*.36 pr. अक्षयं पुरुषं प्राहुः 12. 306. 44. अक्षयं फलमश्नुते 13.74. 18. अक्षयं भवति प्रभो 3. 82.724. अक्षयं मनुरब्रवीत् 13. 88. 4. अक्षयं यत्र वै फलम् 3.477*. 1 post. अक्षयं यौवनं तेऽस्तु 13. 14. 1920. अक्षयं लोकसाक्षिणम् 12. App. 17B. 26 post. अक्षयं सर्वदानानां 13. 65. 13. अक्षय सलिलं तत्र 13. App. 14.418 pr. अक्षयं सह बान्धवैः 13. 14. 189. अक्षयं स्वर्गमार्ग च 13. App. 14. 335A 13 pr. अक्षयं ह्यमृतं तत्र 13. App. 14. 405A 25 pr. अक्षयः क्षपयन्नसौ 13. App. 15. 4060 post. अक्षयः परिकीर्त्यते 13. App. 14. 149 post. अक्षयाणि किलैतानि 5.96. 160. अक्षया तव कीर्तिश्च 3. 42. 220. अक्षयानात्मनिर्जितान् 14. 61. 15. अक्षयानिति शुश्रुम 12. 142. 18t. अक्षयान्प्रतिपद्यते 13. App. 15.4600-1.(subst.) 1 post. अक्षयान्प्राप्नुयाललोकान् 3. 82.73%. अक्षयान्राजसत्तम 9.42.376. अक्षयान्समवाप्नोति 13.66. 19%. अक्षयाललभते लोकान् 12.229*.2 pr. 13. 61.79deg; 65. 520. अक्षया बान्धवाश्चैव 13. 133*. 1 pr. अक्षया ब्राह्मणा राजन् 13. 138. 3. अक्षयाव्ययमव्रणम् 12.300. 16. अक्षयाम्तन्निमित्तं मे 3. 136.6. अक्षयास्तस्य वै लोकाः 13.7. 13%. अक्षया हि पुरा भूत्वा 16.8.59%. अक्षयां गतिमासाद्य 7. 337*. 1 pr. अक्षयां पृथिवीपतिः 13. 61.7". अक्षयेणाव्ययेन च 12. App. 29D. 25 post. अक्षये देवयजने 3.477*. 1 pr. अक्षयेभ्यो वधं राजन् 12.255*. 1 pr. अक्षयः क्षिप्रमत्यतः 1. 215. 15. अक्षयो नरकः केन 3. App. 32. 33 pr. अक्षयो भारतद्रुमः 1. App. 1.56 post. अक्षयौ चाप्युभावपि 12. 306. 43". अक्षय्यकरणो वटः 3. 85.81. 13. 88. 14. अक्षय्यमन्नपानं तत् 1. 1. 20303; App. 32. 33 pr. अक्षय्यमन्नपानं वै 18.5. 36. अक्षय्यमभिधातव्यं 13. 24. 37. अक्षय्यममृतोपमम् 14. App. 4. 861 post. अक्षय्यशरसंयुक्तः 5. 155.30%. अक्षय्य तस्य तच्छ्राद्धं 1.56.29%. अक्षय्य ते भविष्यति 3. 4.30. अक्षय्यं भवति प्रभो 3.85.8. अक्षय्य वर्धते चान्नं 3. 4. 6. अक्षय्यं संप्रकीर्तितम् 14. App. 4. 368 post. अक्षय्याविषुधी चैव 5. App. 11.29. pr. अक्षय्याविपुधी दिव्यौ 4.54. 130. अक्षय्यौ च महेपुधी 1. 216.74; 2160*. 1 post. 2.15.6%3; 23. 1"; 44.5*. 5. 166. 32. 8. 57*.8 post. 9. 61.9. अक्षरक्षरमाणानां 12. App. 6. 4G pr. अक्षरक्षरयोरुक्तं 12.294. 30. अक्षरक्षरयोरेतत् 12. 295. 40". अक्षरक्षरयोरेषः 12. 293. 120. अक्षरक्षरयोर्व्यक्तिं 12. 291.24. अक्षरत्वं नियच्छेत 12. 295. 390. अक्षरश्च भवत्येषः 13. App. 11. 409 pr. पादसूची-2
SR No.032840
Book TitlePatrika Index of Mahabharata
Original Sutra AuthorN/A
AuthorParshuram Lakshman Vaidya
PublisherBhandarkar Oriental Research Institute
Publication Year1967
Total Pages808
LanguageEnglish
ClassificationCatalogue
File Size25 MB
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