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________________ दफा ३४८] नाबालिगी और वलायत दफा ३४८ ख़ानदानी ज़रूरतें क्या क्या हैं हिन्दू खानदान मुश्तरका की शामिल शरीक जायदाद को, वली, या मेनेजर नीचे लिखी ज़रूरतों में बिला मंजूरी खानदान के बालिग मेम्बरों के बेंच सकता है और रेहन कर सकता है। चाहे उस खानदान में नाबालिग मेम्बर भी हों, सब मेम्बर पाबन्द होंगे । नीचे लिखी ज़रूरतें उसी खानदान से सम्बन्ध रखेगी जिसमें मिताक्षरा स्कूल लागू किया गया है। दफा ३७३ भी देखोः (१) अगर जायदाद सरकारी मालगुज़ारी याकिसी सरकारी रुपयाके देने के लिये बेची गई हो जिसका बार जायदाद पर हो तो नाबालिरा और बालिग दोनों भेम्बर उसके पाबन्द हैं । (२) अगर जायदाद क्रिया कर्म करने के लिये, अथवा खानदानी रस्में पूरी करने के लिये बेची गई हो तो अज्ञान और बालिग मेम्बर दोनों पाबन्द हैं, देखो-नाथूराम बनाम सोमाछगन 14 Bom. 562; लल्लागनपति बनाम तूरन 16 W. R. 52.. (३) अगर जायदाद, मुश्तरका खानदान के प्रधान मुखिया को फौजदारी के किसी संगीनचार्ज से बचाने के लिये जो खर्च पड़ा हो, इस गरज़ से बेची गई हो तो बालिरा और नाबालिग दोनों मेम्बर पावन्द हैं, देखो बेनीराम बनाम मानसिंह ( 1912 ) 34 All. 4. (४) अगर जायदाद; जायदाद के छुटाने के लिये, या उसके. बचाये रखने के लिये बेची गई हो तो नाबालिग और बालिग्न मेम्बर दोनों पाबन्द हैं, देखो-मिलर बनाम रून्गोनाथ 12 Cal. 389. ( ५ ) अगर जायदाद, किसी मुश्तरका कर्जे के अदा करने के लिये बेची गई हो जो क़र्जाजायदाद से देने योग्य हो उसके नावालिग और बालिग दोनों मेम्बर पाबन्द हैं देखो नाथूराम बनाम कुंदन ( 1910 ) 33 All. 242. जैसे बाप का क़ानूनन् देने योग्य कर्जा । ___ (६) अगर जायदाद,जायदादके हिस्सेदारोंकी लड़कियोंकीशादीके लिये बेची गई हो तो उसके नाबालिग और बालिग मेम्बर दोनों पाबन्द हैं देखो छोटीराम बनाम नारायणदास 11 Bom. 605; वेकुन्ट बनाम कल्लापिरं 23 Mad. 512; वेकुन्टं बनाम कल्लापिरं 26 Mad. 497, रंगनेकी बनाम रामानुज ( 1912 ) 35 Mad. 728; रामचरन बनाम महीन लाल ( 1914 ) 36 All. 158. नोट-जायदाद के हिस्सेदारों की लड़कियों से मतलब यह है कि उनकी लड़कियों की शादीका खर्चा जायज शुमार किया जायगा जिनका कि हिस्सा जामदादमें शामिल है। दूसरी लड़ाकयोंका नहीं । 46
SR No.032127
Book TitleHindu Law
Original Sutra AuthorN/A
AuthorChandrashekhar Shukla
PublisherChandrashekhar Shukla
Publication Year
Total Pages1182
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size32 MB
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