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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir धुक्छ] ૧૫૪ [ ७३ २७-न पूंछ स्त्री० दुम पुरुषपाय:-वि० सर्वनामका भेद Yएय-वि० पवित्र वि. पाक पवित्र पुरुषाय-५० परिश्रम पु० मेहनत कार्य पुरुषोत्तमभास-पु. अधिक मास पु० धुरयान-1० धर्मदान पु० पुरोगामी-वि. आगेकी वस्तु या आदमी ५९यो-वि० यशस्वी पु० पुहित-पु. धर्मगुरु पु० खलीफा पुत्रवधू-स्त्री. पतोहू बी० पुस ० सेतु पु० धुनर-म० पुनः अ० दुबारा पुर-न० रोम पु० पुनरवतान-10 बापस देखना yalsत-वि० रोमांचित पु० पुनरावत न-10 पुनरागमन पु० वापस पुदिन-पु. नदीतट पु० दरिया किनारा आना, दुगारा पु०४२-१० नीलकमल पु०, पानी पुनरुद्धार- फिर उद्धार होना पु. ४२९-स्त्री. छोटा तलाव पु० कमल पुन म-० नवीन जन्म पु० पुनर्विवा-पु० पुनर्लग्न पु० पु-वि. अधिक वि० ज्यादा धुनित-१० पवित्र पु० पाक पुष्ट-वि० मोटा ५२-० नगर पु० शहर पुष्टि-न० पोषण पु०; समर्थन पुरपति- राजा पु. Y०५-१० फूल पु. गुर पुरमहार-वि० शोभावान वि० । पुष्टि-स्त्री० फूलों की वर्षा स्त्री० ५२५-स्त्री. पूर्ति स्त्री. पुस्त-10 पोथी स्त्री० किताब पुरवार-वि. सावित वि. पुस२-1. किंजल्क पु. Y२२१२-१० पारितोषिक पु० इनाम पुन-पु० समूह पु० ढेर पुराण-वि. प्राचीन पु० क़दीम; पुरी8-10 श्वेतकमल पु० १८ पुराण ग्रन्थ पु० पुलिस-10 नर जाति पु. पुरात-१० पुरातन पु० क़दीम ५२-० तिरस्कारकी आवाज स्त्री० पुरातर३-१० प्राचीन सम्बन्धी पु० : पून-पु. समूह पु. ढेर पुरातन-वि० प्राचीन पु० पुराना ५ग-1008 पहुँचना पुरावा-पु. साविती स्त्री० पूछा-स्त्री. पूछताछ स्त्री० पुरी-स्त्री० नगरी स्त्री० शहर ५७-स.80 प्रश्न करना, सवाल पुरुष-पु. नर पु० मर्द पूचना For Private and Personal Use Only
SR No.020601
Book TitleRashtrabhasha Shabdakosh
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSahityaratna
PublisherVora and Company Publishers Limited
Publication Year1950
Total Pages221
LanguageGujarati
ClassificationDictionary
File Size10 MB
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