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________________ १६८ ] मुंहता नैणसीरी ख्यात ६ गोयंददास । ७ वीठळदास | ६ गोपाळदास रांणावत | वाघावस पटै । सं० १६४१ गुजरात काम आयो । ७ हरीदास गोपाळदासोत । ८ जगनाथ । ९ अखैराज | ३ राघो नाथूरो । इणरै वांसला जेसळमेररै गांव काछै' । ४ चंद्रराव | ५ भाखर काछै रहै । ६ सेखो । ६ सुरतांण । ६ अमरो । ७ देवीदांन । ५ वरजांग । ६ सादूळ | ७ पीथो । ८ मनोहर काछे । ८ मोहणदास । ६ नापो वरजांगरो । ६ सहसो । सोढारं मांमलै कांम प्रायो । ७ डूंगरसी, जगनाथ कनै । ७ स्यांमदास सोरठ कांम आयो' | ३ रिणधीर नाथूरो । ४ मूळो । ५. ढूंदों । गंगादास | ६ नेतो । राणाके देटे गोपालदासको वाघावस गांव पट्टे में । संवत् १६४१ में गुजरात में काम आया। 12. नाथूका बेटा राघो इसके वंशज जैसलमेर परगने के काछे गांवमें रहते हैं । 3 भाखर काछे गांव में रहता है । 4 मनोहर का गांव में रहता है। 5 सहसा सोढोंकी लड़ाई में काम श्राया | 6 डूंगरती जगन्नाथ के पास रहता है। 7 श्यामदास सोरठकी (मोराट्रकी) लड़ाईमें काम श्राया ।
SR No.010610
Book TitleMunhata Nainsiri Khyat Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBadriprasad Sakariya
PublisherRajasthan Prachyavidya Pratishthan Jodhpur
Publication Year1962
Total Pages369
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size19 MB
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