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________________ [ ६ 1 हेतु इस संस्था को इस वित्तीय वर्ष मे प्रदान की गई है, जिससे इस वर्ष निम्नोक्त ३१ पुस्तको का प्रकाशन किया जा रहा है । १. राजस्थानी व्याकरण २. राजस्थानी गद्य का विकास ( शोध प्रबंध) ३. अचलदास खीची री वचनिका ४. हमीरायण - ५. पद्मिनी चरित्र चोपई ६. दलपत विलास - ७. डिगन गीत--- ८. पंवार वश दर्पण ---- ६. पृथ्वीराज राठोड ग्रंथावली १०. हरिरस - ११. पीरदान लालुस प्रधावली१२. महादेव पार्वती वेलि १३. सीताराम चौपई-१४. जैन रासादि संग्रह --- - £ १५. सदयवत्स वीर प्रबंध --- १६. जिनराजसूरि कृतिकुमुमांजलि१७. विनयचद कृतिकुसुमाजलि - १८ कविवर धर्मवर्द्धन ग्रंथावली - १६. राजस्थान रा दूहा२०. वीर रस रा दूहा२१. राजस्थान के नीति दोहे२२. राजस्थानी व्रत कथाएँ - २३. राजस्थानी प्रेम कथाएं२४. चयन - - - श्री नरोत्तमदास स्वामी डा० शिवस्वरूप शर्मा अचल श्री नरोत्तमदास स्वामी श्री भंवरलाल नाहटा 35 श्री रावत सारस्वत 33 33 39 डा० दशरथ शर्मा श्री नरोत्तमदास स्वामी श्रीर श्री बदरीप्रसाद साकरिया श्री वदरीप्रसाद साफरिया ' श्री अगरचंद नाहटा श्री रावत सारस्वत श्री नगरचंद नाहटा श्री. श्रगरचंद नाहटा पोर डा० हरिवल्लभ भायारणी प्रो० मंजुलाल मजूमदार 'श्री भंवरलाल नाहटा >> 33 " 33 33 श्री अगरचंद नाहटा 'श्री नरोत्तमदास स्वामी ور "> 39 " " श्री मोहनलाल पुरोहित " 33 " - श्री रावत सारस्वत ( 5
SR No.010382
Book TitleJinaharsh Granthavali
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAgarchand Nahta
PublisherSadul Rajasthani Research Institute Bikaner
Publication Year1962
Total Pages607
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size18 MB
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