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________________ जिन सिद्धान्त ] PRAMIA द्वारा बने होने पर भी पकड़ने, देखने या अनुभव में न आवे परन्तु जिनका श्रागम में प्रमाण है ऐसे पुद्गल स्कन्ध को सूक्ष्म स्कन्ध कहते हैं जैसे - कार्माण शरीर, तैजस शरीर श्रादि । -Ok प्रश्न - सूक्ष्म सूक्ष्म पुद्गल स्कन्ध किसको कहते हैं ? उत्तर - जो पुद्गल स्कन्ध दो सूक्ष्म परमाणुओं से बना हुआ है उसे सूक्ष्म-सूक्ष्म पुद्गल स्कन्ध कहते हैं । प्रश्न --- पुद्गल स्कन्ध और कितने प्रकार के हैं ? उत्तर -- आहार वर्गणा, तैजस वर्गणा, भाषा वर्गणा मनोवर्गणा, कार्माण वर्गणा यादि २२ भेद और हैं । प्रश्न -- आहार वर्गणा किसको कहते है ? उत्तर -- जो पुद्गल वर्गणा श्रदारिक, वैक्रियिक, आहारक शरीर रूप परिणमन करे उस वर्ग को आहार चर्मणा कहते हैं । प्रश्न - - औदारिक शरीर किसको कहते हैं ? उत्तर - मनुष्य एवं तिर्यश्च के स्थूल शरीर को · हारिक शरीर कहते हैं । वैकियिक शरीर किसको कहते हैं ? उत्तर -- जो शरीर अनेक प्रकार की यवस्थायें धारण करे, जिसकी छाया न पडे ऐसे देव तथा नारकी के शरीर को वैकियक शरीर कहते हैं । Apple
SR No.010381
Book TitleJina Siddhant
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMulshankar Desai
PublisherMulshankar Desai
Publication Year1956
Total Pages203
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size3 MB
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