Book Title: Subodh Sanskrit Dhatu Rupavali Part 01
Author(s): Rajesh Jain
Publisher: Tattvatrai Prakashan

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Page 9
________________ -:-452 - 1 પ્રથમ વિભાગના 4 ગણના ધાતુઓના રૂપાખ્યાન માટેના પ્રત્યય પપદ આત્મપદ वर्तमान मे.व. वि . स.व. मे.व. वि . स.व. पुरुष 1 मि वस् मस् / इ वहे महे पुरुष 2 सि थस् थ / से इथे ध्वे / पुरुष 3 ति तस् अन्ति / ते . इते अन्ते હસ્તન (અનદ્યતન-અપૂર્ણ) ભૂતકાળ मे.व. द्विव. ज.व. मे.व. वि . स.व. पुरुष 1 अम् व म इ वहि महि पुरुष 2 स् तम् त थास् इथाम् ध्वम् पुरुष 3 त् ताम् अन् इताम् अन्त ल सुमो धातुपावली लास- - - - - - - - - - - - - - - - .

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