SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 124
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ 122 अहिंसा दर्शन राजनैतिक व्यवस्था - ___अहिंसक राजनैतिक व्यवस्था का स्वरूप क्या हो? स्वच्छ राजनीति वह है, जिसमें व्यक्ति की स्वतन्त्रता का हनन नहीं होता। जहाँ व्यक्ति और राष्ट्र का सम्बन्ध, मात्र यान्त्रिक नहीं होता; व्यक्ति की स्वतन्त्रता का मूल्याङ्कन किया जाता है। व्यक्ति की स्वतन्त्रता आत्मानुशासित होती है - ऐसी स्वतन्त्रता व्यक्तिगत विशेषताओं का संरक्षण है, जो राष्ट्र की समृद्धि की आवश्यक शर्त अहिंसक राजनीति की दूसरी विशेषता व्यक्तित्व निर्माण की दिशा में ठोस कार्यक्रम लागू करना है। हिंसा की रोकथाम करना और विधिव्यवस्था कायम रखना, राजनीति का यही मात्र काम नहीं है। जीवन्त राजनीति का लक्ष्य है - व्यक्ति का हित और मानव-कल्याण। विकेन्द्रित राजनैतिक व्यवस्था हो ताकि दलगत राजनीति को अवसर न मिले। वर्तमान राजनीति में राजनीतिज्ञों के प्रशिक्षण के लिए भी कोई व्यवस्था नहीं है। परिणामस्वरूप गुणवत्ता के स्थान पर सिर्फ संख्या इसका आधार रह गया है। राजनीति अपराधियों की शरण स्थली बनती जा रही है। इस पर अंकुश आवश्यक है। अतः व्यवस्था परिवर्तन के लिए संगठनात्मक प्रशिक्षण की आवश्यकता है, जिसमें अनुसन्धान, योजना, कार्य करने के लिए तैयार होना, प्रचार, कार्य का प्रारम्भ, नेतृत्व आदि संगठन के विभिन्न पहलुओं के लिए प्रशिक्षण प्राप्त करना आवश्यक है। अहिंसा प्रशिक्षण के और भी आयाम, पहलू या दृष्टिकोण हो सकते हैं, इस प्रविधि का विकास और अधिक किया जा सकता है किन्तु आवश्यकता है इस दिशा में पहल करने की। एकजुट होकर यदि इस प्रशिक्षण में और भी अधिक अनुसन्धान किए जाएं तो कई निष्कर्ष सामने आएँगे, जो शान्ति और अहिंसा की स्थापना का मजबूत आधार बनेंगे।
SR No.034026
Book TitleAhimsa Darshan Ek Anuchintan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAnekant Jain
PublisherLal Bahaddur Shastri Rashtriya Sanskrit Vidyapitham
Publication Year2012
Total Pages184
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size2 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy