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________________ सरल वाक्य 1. मया अभिवाद्यः गुरुः इदानीम् अत्र आगच्छति । 2. तेन अद्य शोभना कथा कथनीया । 3. त्वं बधिराय मनुष्याय शुष्कं पुष्पं न देहि । 4. अहं तस्यै बुभुक्षितायै नारिकायै उत्तमम् अन्नं पेयं च पानीयं दातुम् इच्छामि । 5. यदा सः पूजनीयाय गुरखे अखिलं धनं दास्यति तदा त्वम् एवं वद । 6. पश्य मित्र, मया अद्य प्रातःकाले उत्तमा गौः गंगायाः तीरे दृष्टा । 7. यदा त्वं कठिनं कार्यं करिष्यसि, तदा अहं तव साहाय्याय आगमिष्यामि । 124 निम्न वाक्यों की संस्कृत बनाइए 1. राम की सीता नामक पतिव्रता स्त्री थी । 2. रामचन्द्र ने रावण का वध किया। 3. जैसी मार्ग में कल कीचड़ हुई थी, वैसी आज नहीं हुई । 4. कल बादल से पानी बहुत बरसा था, इसलिए कीचड़ हुई थी । 5. कपड़ा धोने के लिए शुद्ध जल उत्तम होता है। यह जल अत्यन्त अशुद्ध है, इससे कपड़ा कैसे धोऊँ । पाठ 38 शब्द मालाकारः - माली । लौहकारः - लोहार । रथकारः, काष्ठकारः - तर्खान, बढ़ई । वैद्यः- वैद्य । सुवर्णकारः – सुनार । चर्मकारः - चमार । उपानत् - जूता । घटीकारः - घड़ीसाज़ । वस्त्रकारः - दर्ज़ी | चित्रकारः - चित्रकार । रजकः - धोबी । मूर्तिकारः - मूर्ति बनानेवाला । वाक्य 1. मालाकारः उद्याने कर्म करोति-माली बाग़ में काम करता है । 2. वैद्यः रुग्णाय जनाय औषधं ददाति-वैद्य रोगी के लिए ( को ) दवाई देता है । 3. सुवर्णकारः सुवर्णस्य आभूषणं करोति स्म -सुनार सोने का गहना बनाता था । 4. चर्मकारः उपानत् करोति - चमार जूता बनाता है । 5. चित्रकारः उत्तमम् आलेख्यम् आलिखति - चित्रकार उत्तम चित्र खींचता है। 6. रजकः जलेन वस्त्रं प्रक्षालयति - धोबी जल में कपड़े धोता है । 7. घटीकारः घटीयन्त्रं करोति - घड़ीसाज़ घड़ी बनाता है। 8. रथकारः रथं करोति स्म - -बढ़ई गाड़ी बनाता है ।
SR No.032413
Book TitleSanskrit Swayam Shikshak
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShripad Damodar Satvalekar
PublisherRajpal and Sons
Publication Year2010
Total Pages366
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size16 MB
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