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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir लघीयस्त्रयम् (स्वोपज्ञपवृत्ति सहित) - ले.-अकलंकदेव।। शती। जयपुरनिवासी। ई. 8 वीं शती। जैनाचार्य। लघुवृत्ति (या अनुत्तरत्रिंशिकाविमर्शिनी) - यह लघुकालनिर्णय - ले.-माधवाचार्य। अनुत्तरत्रिंशिका की लघु व्याख्या है। रचयिता का नाम अज्ञात लघुचक्रपद्धति - विषय- श्रीचक्रनिर्माण की विधि । है। श्लोक- 3001 लघुचन्द्रिका - ले.-सच्चिदानन्द। ग्रंथकार ने स्वकृत । लघु-वृत्तिविमर्शिनी (अनुत्तरत्रिशिंका की व्याख्या) - ललितार्चनचन्द्रिका का संक्षेप श्रीविद्याक्रम-पूजन-लघुचन्द्रिका के ले.-श्रीकृष्णदास । श्लोक- 600। नाम से प्रस्तुत किया है। प्रकाश- 51 श्लोक- 800। विषय- लघुशातातपस्मृति - आनन्दाश्रम द्वारा प्रकाशित । उपासक के आह्निक कृत्य, न्यासविधि, अर्घ्यसाधनादि विधि, लघुशब्देंदुशेखर - ले.-नागोजी भट्ट। पिता- शिवभट्ट। माताआवरण पूजा से लेकर विसर्जनान्त पूजन का विधान, सती। ई. 18 वीं शती। विषय- व्याकरणशास्त्र। इस पर आसनोत्थापनविधि ई. टीकाएं (1) वैद्यनाथ पायगुंडे कृत चिदस्थिमाला। (2) लघुचिन्तामणि - ले.-वीरेश्वरभट्ट गोडबोले। उदयशंकर पाठककृत ज्योत्स्रा। (3) सदाशिव शास्त्री घुले, लघुदीपिका - ले.- गदाधर । आनन्दवन विरचित रामार्चनचन्द्रिका (नागपुरनिवासी) कृत सदाशिवभट्टी (या भट्टी) (4) की टीका। श्रीधरकृत-श्रीधरी। (5) राघवेन्द्राचार्य गजेन्द्रगडकरकृत विषमा लघुद्रव्यसंग्रह - ले.- नेमिचन्द्र सिद्धान्तदेव। जैनाचार्य। ई. और (6) इन्दिरापतिकृत- परीक्षा। 12 वीं शती। लघुसप्तशतिका-स्तोत्रम् - ले.-प्रभाकर। ई. 16 वीं शती। लघुनयचक्रम् - ले.- देवसेन । जैनाचार्य । ई. 10 वीं शती। विषय- देवीमहिमा। लघुनिबन्धमणिमाला - ले.-प्रा. श्रुतिकान्त । लघुसर्वज्ञसिद्धि - ले.-अनन्तकीर्ति । जैनाचार्य । ई. 8-9 वीं शती। लघुपद्धति (या कर्मतत्त्वप्रदीपिका) - ले.-कृष्णभट्ट। पिता लघुसूत्र पूजापद्धति • ले.-उमानन्दनाथ। श्लोक- 700। पुरुषोत्तम। समय- ई. 14 वीं शती। विषय- आचार एवं लघुहारीतस्मृति - अपरार्कद्वारा वर्णित। आनन्दाश्रम (पुणे) व्यवहार का विवेचन। एवं जीवानन्द द्वारा प्रकाशित । 2) ले.- विद्यानन्दनाथ। श्लोक- 1000। लघुस्तवराज - ले.-श्रीनिवासाचार्य। निंबार्काचार्य के शिष्य । लघुपाणिनीयम् - ले.-राजराजवर्मा । लघ्वत्रिस्मृति - ले.- जीवानन्द । लघुपूजापद्धति - ले.- विद्यानन्दनाथ । श्लोक- लगभग- 220 । लघ्वी (विवरण) - ले.- प्रभाकर मिश्र । ई. 7 वीं शती। लघुभागवतामृतम् - ले.-रूपगोस्वामी। ई. 16 वीं शती।। लब्धिसार - ले.- नेमिचन्द्र। जैनाचार्य। ई. 10 वीं शती। चैतन्य मत के प्रमुख आचार्य तथा षट् गोस्वामियों में एक।। लब्धिविधानकथा - ले.-श्रुतसागरसूरि । जैनाचार्य। ई. 16 वीं लघुभारतम्- (महाकाव्य) - ले.-गोविन्दकान्त विद्याभूषण । ऐतिहासिक काव्य। सन 1857 के स्वातंत्र्ययुद्ध तक की घटनाएं लम्बोदर (प्रहसन) - ले.- वेंकटेश। ई. अठारहवीं शती। वर्णित। ललितगीतलहरी - ले.-ओगेटी परीक्षित शर्मा। आन्ध्र के लघुमंजूषा- ले.- नागेशभट्ट । व्याकरण ग्रंथ। निवासी। पुणे में सेवारत। शारदा प्रकाशन, पुणे-30। संस्कृत लघुमानसम् - ले.- मुंजाल ( या मंजुल) ज्योतिष विषयक गीतकाव्यों का संग्रह। सुप्रसिद्ध ग्रंथ। समय- 932 ई.। "लघुमानस" में 8 प्रकरण ललितमाधवम् (श्रीकृष्णविषयक प्रख्यात नाटक) - हैं। इनमें वर्णित विषयों के अनुसार प्रत्येक प्रकरण का नामकरण ले.-रूपगोस्वामी। ई. 1537 में रचित । इसका प्रयोग राधाकुण्ड किया गया है। मध्यमाधिकार, स्पष्टाधिकार, तिथ्यधिकार, के तट पर माधव मन्दिर के सामने हुआ था। दस अंकों के त्रिप्रश्नाधिकार, ग्रहयुत्यधिकार, सूर्यग्रहणाधिकार, चंद्रग्रहणाधिकार इस नाटक में प्रमुख रस शृंगार है। चन्द्रावली, राधा आदि तथा शूगोन्नत्यधिकार। ज्योतिषशास्त्र के इतिहास में इस ग्रंथ नायिकाओं के साथ कृष्ण की प्रणयलीलाओं का कलापूर्ण का स्थान महत्त्वपूर्ण है। अंकन इसमें है। राधा के गद्य संवाद प्राकृत में, परन्तु पद्य परमेश्वर कृत संस्कृत टीका के साथ "लघुमानस" का भाग संस्कृत में हैं। भारुण्डा (चन्द्रावली की सास) तथा प्रकाशन 1944 ई. में हो चुका है। इसी प्रकार एन.के. जटिला (राधा की सास) खलनायिकाओं के रूप में चित्रित हैं। मजूमदार कृत इसका अंग्रेजी अनुवाद कलकत्ता से 1951 ई. संक्षिप्त कथा- इस नाटक के प्रथम अंक में श्रीकृष्ण वन में प्रकाशित हुआ है। से घर लौटने पर अपनी प्रेमिकाओं -राधिका और चंद्रावली लघुरघुकाव्यम् • ले.-सीताराम पर्वणीकर। ई. 18-19 वीं से मिलने का प्रयास करते हैं किन्तु उन दोनों की सासों शती। 314/ संस्कृत वाङ्मय कोश - ग्रंथ खण्ड For Private and Personal Use Only
SR No.020650
Book TitleSanskrit Vangamay Kosh Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShreedhar Bhaskar Varneakr
PublisherBharatiya Bhasha Parishad
Publication Year1988
Total Pages638
LanguageSanskrit
ClassificationDictionary
File Size30 MB
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