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Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
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1
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59193
594
603
604
605
606
ओसियां 3 इ 168
ओसियां 3 इ 182
ओसियां 3 इ 180
के नाथ 21/30
24/71
के. नाथ
5/17
के नाथ 18/33
कोलड़ी 467
के. नाथ
14/8
के. नाथ 5/29
ओसियां 3 इ235
महावीर 3 इ76
ओसियां 3 इ 169
के नाथ 5/78 90 10/84, 17/17 17/27, 21/65
23/21-1
607
2*
31
99
कोलडी 470-6. 1124
भक्तामर
11
13
11
"
21
"1
11
17
"1
13
11
11
31
कुंथुनाथ 3 - 78, 4-89,9-116, 13-35, 32,5,
27-2
600-2 | महावीर 3इ 70, भक्तामर भण्डारित काव्य
73,75
3 प्रतियां
के. नाथ 6/10
सेवामंदिर 3 इ 330
कोलड़ी 464 भक्तामर की कथायें
कुंथुनाथ 11 / 201 भक्तामर - भाषा
h. नाथ 26/86 | भक्ति-पद
31
3
"1
+ वृत्ति
+ बा.
+ वृत्ति
+ वृत्ति
+ वृत्ति
+ वृत्ति
11
+ श्र.
+ वृत्ति
+ वृत्ति
भक्तामर की वृत्ति
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6 प्रतियां
3 प्रतियां
6 प्रतियां
3 A
Bhaktamara + Vṛtti
+ Bāna
+Vrtti
+ Vrtti
+Vrtti
+Vrtti
+ Avacūri
+ Vrtti
3.
39
33
33
"
39
""
"3
Bhakti Pada
+Vrtti
+Vrtti
भाग / विभाग : 3 (प्रा)- जैन भक्ति व क्रिया
Bhaktamara Bhaṇḍārita Kaya 3 copies Bhaktamara ki Vṛtti
For Private and Personal Use Only
6 copies
3 copies
Bhaktamara ki Kathayen
Bhāṣā
6 copies
मानतुङ्ग
リ
27
"1
22
""
=
12
"1
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
=
21
"
4
हर्ष की ति
शांतिसूरि
अमरप्रभ
कनककुशल
I
हेमराज
विनोदीलाल
1
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मू.वृ.
मू. बा.
मू.वृ.
33
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मू.अ.
मू बृ.
मू.ट.
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म.व.
मू.ट.
मूप.
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ग.
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19
प.
27
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