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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir लुलिता ९१५ लेप्यं लुलिता (स्त्री०) चंचला, चपला। (जयो० २१/५) लुष् (सक०) चोट पहुंचाना, नष्ट करना। लुषभः (पुं०) उन्मत्त हस्ति। लुहू (अक०) लालच करना, उत्सुक होना, लोभ होना। लालायित होना। लू (सक०) काटना, कतरना, वियुक्त होना। विध्वंस करना, नष्ट करना। लूकाकृत (वि०) मर्कटिकार्थ, मकडी के प्रयोजनार्थ। (जयो० २०/३०) लूता (स्त्री०) [लू+तक+टाप्] मकड़ी। ०चींटी। लूतातन्तु (पुं०) मकड़ी का जाल। लून (भू०क०कृ०) काटा गया, छांटा गया, वियुक्त किया गया, चुना गया, नष्ट किया गया। लूनं (नपुं०) पूंछ। लूमं (नपुं०) [लू+मक्] पूंछ। लूमशिखा (स्त्री०) जहरीली पूंछ। लूव् (सक०) चोट पहुंचाना, क्षतिग्रस्त करना। ०लूटना, चुराना, डकैती डालना। लेखः (पुं०) [लिख+घञ्] लिखना, लिखावट। ___ प्रशस्ति। (जयो०वृ० ११/३२) अभिलेख, शिलालेख, कूटलेख। लेखकः (पुं०) [लिख्+ण्वुल्] लिपिक, लिपिकार, चितेरा (दयो० ६३, जयो० २/१३) लेखन (वि०) लिखने वाला, चितेरा। लेखनः (पुं०) हिसाब, लिपिकार। (जयो० २/१३) लेखनं (नपुं०) लिखना, प्रतिलिपि करना, खुरचना, छीलना, पतला करना। लेखनप्रमादः (पुं०) लिखने में प्रमाद। (दयो०६५) लेखनिकः (पु०) [लेखन्+ठन्] पत्रवाहक। लेखनी (स्त्री०) कलम। ०चम्मच। लेखपत्रं (नपुं०) पत्र, लेख, लिखावट, संदेश। लेखपत्रिका (स्त्री०) चिट्ठी, पत्र, संदेश। लेखलेशः (पुं०) तिलक। लेखस्य लेशस्तिलक रूप। (जयो० १८/३५) लेखसंदेशः (पुं०) लिखित संदेश। लेखहरः (पुं०) दूत, संदेशवाहक। (जयो० ९/६२) लेखहारः (पुं०) पत्रवाहक। लेखहारिन् (पुं०) चिट्ठिदशा, डाकिया, पत्रवाहक। लेखा (वि०) [लिख्+अ+टाप्] रेखा, धारी, लकीर, शलाका, सलाई। (सुद० १३३) रेखांकन, लिखावट, चित्रांकन, चित्रण। आकृति, छाप, निशान, गोट, किनारी, अंचल, झालर। ०चोरी। लेखाकृत (वि०) अङ्गुलीकृत। (जयो० १९/२) लेखाङ्कित (वि०) रेखाङ्कित, लेख से अंकित। 'लेखेनाङ्कितं तथा व्यक्ताभिलेखाभिराङ्कितं' (जयो० ११/५८) लेखातिगः (पुं०) लेखिनी, कमल। (समु० ६/२) लेखावितय (वि०) तीन रेखाए। (जयो० ११/४८) । लेखिनी (स्त्री०) [लेख+ल्युट्+ङीप] कमल। समुल्लेखकी। (जयो० १२।८१) लेख्य (वि०) [लिख्+ण्यत्] अंकित किये जाने योग्य, चित्रित करने योग्य। लेख्यं (नपुं०) लिखना, अंकित करना, प्रतिलिपि, चित्रण, रेखांकन। लेख्यकृत (वि०) लिखा गया। लेख्यगत (वि०) चित्रित, लिखित, अंकित। लेख्यचूर्णिका (स्त्री०) कूची, तूलिका। लेख्यपत्रं (नपुं०) लेख, पत्र, संदेश पत्र। लेख्यप्रसङ्गः (पुं०) दस्तावेज। लेख्यस्थानं (नपुं०) लिखने का स्थान। लेण्डं (नपुं०) विष्टा, मला लेतः/लेतं (पुं०/नपुं०) आंसू, अश्रु। लेप् (सक०) जाना, पहुंचना। लेपः (पुं०) [लिप्+घञ्] लीपना, पोतना। उपटन, मालिश। लेपकः (पुं०) लीपना, पोतना। स्वच्छ करना। सफाई करना। लेपकरः (०) पोतने वाला, चुनाई करने वाला। लेपनः (पुं०) [लिप्+घञ्] धूप, लोबान। लेपनं (नपुं०) पोतना, लींपना। (जयो० ११/४) लेपनी (स्त्री०) चूना, सफेदी। लेप्य (वि०) [लिप्+ण्यत्] लीपे जाने योग्य। लेप्यं (नपुं०) लीपना, पोतना। For Private and Personal Use Only
SR No.020131
Book TitleBruhad Sanskrit Hindi Shabda Kosh Part 03
Original Sutra AuthorN/A
AuthorUdaychandra Jain
PublisherNew Bharatiya Book Corporation
Publication Year2006
Total Pages445
LanguageSanskrit, Hindi
ClassificationDictionary
File Size23 MB
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