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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir प्राचीन ब्राह्मी ___ 2. अशोक के आदेशलेखों की पुरानी मौर्य-लिपि143 (फलक II, स्त० II-XII) जो ईरानी सिग्लोई144 और तक्षशिला आदि के पुराने सिक्कों पर145 स्थानीय भेदों के साथ, और भरहुत स्तूप के बहुतांश अभिलेखों में (फलक. II, 6, XVIII; 45, XI), गया,146 सांची,147 और पारखम148 में, पटना की मुहरों पर, सोहगौरा ताम्रपट्ट में149 और घसुंडी या नागरी के पत्थरों पर (फलक. II, स्त० XVI) मिलती है। संभवतः यह ई. पू. की चौथी शती के कम-से-कम द्वितीयार्द्ध और ई. पू. तीसरी शती में प्रचलित थी। 3. भट्टिप्रोल की द्राविड़ी (फलक II, स्त० XIII-XV), जो मौर्य ब्राह्मी के दक्षिणी विभेद से संबद्ध है पर जिसमें बहुत-से पुरागत रूप भी हैं। काल लगभग ई. पू. 200 । 4. दशरथ के अभिलेखों की उत्तरकालीन मौर्य-लिपि (फलक. II, स्त० XVII) । इंडो-ग्रीक राजाओं अगाथोक्लीज और पन्टालियन के सिक्कों के अक्षरों से इसका घनिष्ठ संबंध है ।150 काल ई. पू. लग० 200-180। 5. भरहुत के तोरण की शुंग लिपि (फलक. II, स्त०XVIII) यह पभोस के अभिलेखों (फलक. II, XIX), भरहुत और सांची के स्तूपों की वेदिकाओं ___143. मिला. अशोक के अभिलेखों की निम्नलिखित प्रतिकृतियाँ जिनका पा. टि. 142 में उल्लेख नहीं हुआ है पर वे पर्याप्त विश्वसनीय हैं : ब. आ. स. रि. वे. इ. II, 98 तथा आगे, गिरनार; इ.ऐ. XIII, 306 तथा आगे, प्रयाग; इ.ऐ. XIX,122 तथा आगे दिल्ली-मेरठ, प्रयाग का रानी का आदेश-लेख, प्रयाग-कोसांबी अभिलेख; इ. ऐ. XX, 364, बराबर की गुफाओं के अभिलेख ; इ. ऐ. XXII, 299, सहसराम और रूपनाथ; ए. ई. II, 2.45 तथा आगे, मठिया और रामपुरवा; ए. ई. II, 366, सांची; ज. ए. 1887, I, 498, बैराट सं. 1; और ब. आ. स. रि. वे. ई. IV, फल. 5. 144. ज. रा. ए. सो. 1895, 865 (फल.). 145. क., क्वा. ऐ. इं. फल. 2, 3; फल. 8, सं. 1; फल. 10, सं. 20. 146. क., म. ग. फल. 10, सं. 2, 3 147. ए. ई. II, 366 तथा आगे की प्रतिकृतियाँ । 148. क., आ. स. रि. XX, फल. 6 149. ए. सो. बं. मई-जून 1894 का कार्यवृत्त फल. I. 150. गार्डनर, कै. इ. क्वा. बि. म्यू. फल. 3-4. 65 For Private and Personal Use Only
SR No.020122
Book TitleBharatiya Puralipi Shastra
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGeorge Buhler, Mangalnath Sinh
PublisherMotilal Banarasidas
Publication Year1966
Total Pages244
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size10 MB
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