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________________ [ १० ] उनके प्रति अपनी प्रणामांजलि अर्पित करता हूँ । गुरुतुल्य आ० रामचन्द्र झा ( संपादक, काशी मिथिला ग्रन्थमाला ), भाई डॉ० रामकुमार राय एवं पिता तुल्य पं० विन्ध्यवासिनी प्रसाद जी 'अनुगामी' ने अनेक सुझाव देकर मेरे कार्य को सहज बनाया है, इसके लिए उनका कृता हूँ । पाहुन परमानन्द तिवारी (वाराणसी) के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित करता हूँ । प्रकाशक बन्धुओं ने विविध प्रकार की सामग्री देकर मेरे कार्य को सुगम बनाया है, इसके लिए मैं उन्हें धन्यवाद देता हूँ । अन्त में, बाबा विश्वनाथ को प्रणाम करता हूँ जिनकी नगरी में रहकर ही इस कोश का कार्यारम्भ हुआ था । जय संस्कृत, जय हिन्दी विजया दशमी वि० सं० २०३० } राजवंश सहाय 'हीरा'
SR No.016140
Book TitleSanskrit Sahitya Kosh
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRajvansh Sahay
PublisherChaukhambha Vidyabhavan
Publication Year2002
Total Pages728
LanguageHindi
ClassificationDictionary & Dictionary
File Size20 MB
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