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________________ परिच्छूट-परिणाम संक्षिप्त प्राकृत-हिन्दी कोष ५४७ परिच्छूढ वि [दे. परिक्षिप्त] उत्क्षिप्त, फेंका | परिदृव सक [परि + स्थापय्] परित्याग हुआ। परित्यक्त । करना । संस्थापन करना । परिच्छेअ पुं [परिच्छेद] निर्णय, निश्चय । परिवण न [प्रतिष्ठापन] प्रतिष्ठा कराना । परिच्छेअ वि [दे. परिच्छेक] लघु, छोटा। परिठ्ठा देखो पइट्टः ।। परिच्छेअग वि [परिच्छेदक] निश्चय-कर्ता। परिहाइ वि [परिठापिन्] परित्यागी। परिच्छेज्ज वि [परिच्छेद्य] वह वस्तु जिसका परिहाण न [परिस्थान] परित्याग । क्रय-विक्रय परिच्छेद पर निर्भर रहता है- परिट्ठाव देखो परिव। रत्न, वस्त्र आदि द्रव्य । परिट्टावअ वि [परिस्थापक] परित्याग करनेपरिच्छेद देखो परिच्छेअ = परिच्छेद । वाला। परिच्छेदग देखो परिच्छेअग। परिटिअ वि [परिस्थित] सम्पूर्ण रूप से परिच्छोय वि [परिस्तोक] अल्प । स्थित । परिछेज्ज देखो परिच्छेज्ज । परिटिअ देखो पइट्टिय। परिजडिल वि [परिजटिल] अतिशय जटिल । परिठव देखो परिव । परिजण देखो परिअण। परिठवण देखो परिवण = परिष्ठापन । परिजव सक [परि + विच्] पृथक् करना। परिण देखो परिणी। परिजव सक [परि+जप्] जाप करना । परिणाइ स्त्री परिणति] परिणाम । बहुत बोलना, बकवाद करना। परिणतु वि [परिणन्तृ] परिणत होनेवाला । परिजाइय वि [परियाचित] माँगा हुआ। परिणद सक [पार + नन्द्] वर्णन करना, परिजिअ वि [परिजित] सर्वथा जीत, जिस | श्लाघा करना। पर पूरा काबू किया गया हो वह । परिणद्ध वि [परिणद्ध] परिगत, वेष्टित । न. परिजुण्ण वि [परिजीर्ण] फटा-टूटा, अत्यन्त वेष्टन । जीर्ण । दुर्बल । निर्धन । परिणम सक[परि परिजुत्त वि [परियुक्त] सहित । णम्] प्राप्त करना । अक. परिजुन्ना स्त्री [परिजीर्णा, परिघुना] दरि रूपान्तर को प्राप्त होना । पूर्ण होना, पूरा द्रता के कारण ली हुई दीक्षा । होना। परिजुसिय देखो परिझुसिय। परिणमण न [परिणमन] परिणाम । परिजुसिय न [पर्युषित] रात्रि-परिवसन, रात परिणमिअ) वि [परिणत] परिपक्व । का बासी रहना, बासी। देखो परिउसिअ । परिणय । वृद्ध-प्राप्त । अवस्थान्तर को परिजूर अक [परि + ज] सर्वथा जीर्ण होना । प्राप्त । "वय वि |°वयस्] वृद्ध । परिणयण न [परिणयन] विवाह । परिजूरिय वि [परिजीर्ण] अतिजीर्ण । परिणव देखो परिणम । परिज्जय पुं [दे] कृष्ण पुद्गल-विशेष । परिणाइ पुं [परिज्ञाति] परिचय । परिज्जुन्न देखो परिजूरिय। परिज्झामिय वि [परिध्यामित] श्याम परिणाम सक [परि + णमय] परिणत (काला) किया हुआ। करना। परिज्झुसिय)वि [परिजुष्ट] सेवित । प्रीत। | परिणाम पुं. अवस्थान्तर-प्राप्ति, रूपान्तरलाभ । परिझुसिय परीक्षण। दीर्घ काल के अनुभव से उत्पन्न होनेवाला परिझूसिय | आत्म-धर्म-विशेष । स्वभाव, धर्म । अध्यवसाय, Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.016020
Book TitlePrakrit Hindi kosha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorK R Chandra
PublisherPrakrit Jain Vidya Vikas Fund Ahmedabad
Publication Year1987
Total Pages910
LanguagePrakrit, Hindi
ClassificationDictionary & Dictionary
File Size19 MB
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