SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 441
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ xxitz समाज सुधार .. स्वरूप समाज रचना व रूढ़ि उन्मूलन की दृष्टि से सब ही जैन समाजों व उसकी जातियों के प्रतिनिधियों ने दहेज प्रथा की भयंकरता के प्रति घोर वेदना प्रगट की। मानवीय कमजोरियां व झठी साजाजिक प्रतिष्ठान ने समाज के साधारण व गरीब टबकों पर भारी बोझ डाल दिया है जो असह्य होता जा रहा है। उन्होंने यह निर्णय लिया कि: दि. 17 नवम्बर 74 व 24 नवम्बर 74 की बैठकों में सब ही समाज के प्रतिनिधियों ने यह सहमति प्रकट की कि दहेज प्रथा के भयंकर रोग को कम करने के लिये वैवाहिक सम्बन्धों की छूट जैन जाति तथा दे देनी चाहिये। इस और कोई विरोध कहीं से भी नहीं पाया और सर्व मान्यता प्रदर्शित की गई ।' ... 1. युवा वर्ग सजग प्रतीत होता है। उदयपुर में बोहरा यूथ ने सामूहिक वैवाहिक पद्धति के मार्ग को अपना कर दूसरी जाति के समक्ष एक ज्वलन्त उदाहरण उपस्थित किया है। व्यवहारिक धरातल पर प्रयोग जैन समाज में अभी गर्भ की अवस्था में है । इस और शक्ति जितनी शक्ति चाहिये घी नहीं जुटा पाये और न सामूहिक वातावरण बना सके। अन्तर्भाना अवश्य बन पड़ी है। 'महावीर नन्दन' मासिक पत्रिका वैवाहिक विज्ञापन अवश्य देता है। एक क्रांतिकारी युवादल दहेज का दमन कर सके, प्राशा वादो है। प्रारम्भिक प्रार्थिक सहायता : प्रत्येक समाज इस शक्ति की निधि रखता है और उदार समाज सेवी सज्जनों से किसी भी अच्छे कार्य का प्रारम्भ व सफल संचालन होता है। उदयपुर में निम्नलिखित महानुभावों ने भगवान महावीर पच्चीसवी निर्वाण शताब्दी वर्ष को मनाने में प्रारम्भिक सहायता अब तक प्रदान की : श्री बी. ए. टी. एण्ड सन्स 1111), श्री प्रतापसिंहजी मुरडिया 1111), श्री किशनलालजी दलाल 1001), श्री भगवतीलालजी स्वरूपरिया 1111) रु श्री जसकरणजी धर्मचन्दजी पोरवाल 1001), श्री सिंघवी ब्रदर्स 750), श्री कुन्दनसिंहजी खमेसरा 501), श्री फतलालजी सोहनलालजी हिंगड 501) श्री किरणमल जी शामसुखा 501), श्री जोतिहजी मेहता 501), श्री नगर निर्माण समिति 500), राज्य सरकार 725), श्री दिगम्बर समाज 1500) कुछ राशि अन्तरिम रूप से प्राप्त की है। जोधपुर भगवान महावीर शिक्षण संस्थान द्वारा 1200 बालिकाओं के लिये उच्चतर कन्या माध्यमिक विद्यालय के लिये भवन निर्माण का कार्य हाथ में लिया गया है जिसका अनुमानित व्यय 200 लाख रुपये होगा। यह पाठशाला स्थानीय गोशाला मैदान में निर्मित करायी जायेगी जिसके लिये राज्य सरकार द्वारा 5 एकड़ भूमि आवंटित की जा चुकी है। इसका शिलान्यास महावीर जयन्ती पर माननीय श्री हरिदेवजी जोशी, मुख्य मन्त्री, राजस्थ न के कर कमलों द्वारा किया जा चुका है तथा इसका निर्माण कायं दीवाली पूर्व प्रारम्भ कर दिया जायेगा। Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.014031
Book TitleMahavira Jayanti Smarika 1975
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBhanvarlal Polyaka
PublisherRajasthan Jain Sabha Jaipur
Publication Year1975
Total Pages446
LanguageEnglish, Hindi
ClassificationSeminar & Articles
File Size11 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy