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________________ द्वितीय खण्ड : जीवनदर्शन १४५ . + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + + उसी प्रकार पूना के ही एक आर्ट्स एण्ड कॉमर्स कालेज में बी० ए० और बी. कॉम. परीक्षा में प्रथम आने वाले छात्र को प्रति वर्ष सौ-सौ रुपये के दो पुरस्कारों की व्यवस्था भी आपश्री की प्रेरणा से की गयी है । श्रमण-श्रमणियों और भावदीक्षितों के अध्ययन के लिए आपश्री की प्रेरणा से उदयपुर में श्री तारक गुरु जैन ग्रन्थालय के अन्तर्गत पुष्कर विद्यापीठ की संस्थापना हुई है जिसमें सम्प्रति सती-वृन्द एवं भावदीक्षिताएँ पढ़ रही हैं। सन् १९६६ में आपश्री का चातुर्मास पदराडा था। उस समय महास्थविर श्री ताराचन्द जी महाराज की पुण्य स्मृति में आपश्री की प्रेरणा से 'श्री तारक गुरु जैन ग्रन्थालय' की संस्थापना हुई। पहले यह संस्था पदराडा में चलती रही। पर उसके पश्चात् संस्था का मुख्य कार्यालय उदयपुर में आ गया। इस संस्था के द्वारा साहित्य की विविध विधाओं में बड़े ही महत्त्वपूर्ण ग्रन्थ प्रकाशित हुए हैं । आज दिन तक सौ ग्रन्थों से अधिक ग्रन्थ निकल चुके हैं। यह संस्था साहित्यिक दृष्टि से एक गौरव-गरिमा से युक्त संस्था है। इस संस्था का उद्देश्य है शोधप्रधान व जीवनोपयोगी उत्कृष्ट साहित्य का प्रकाशन करना । आपश्री के पावन-प्रवचनों से प्रभावित होकर भारत के विविधस्थलों में गृहस्थों के धार्मिक साधना हेतु स्थानक बने तथा अनेक स्थलों पर बालक और बालिकाओं के धार्मिक अध्ययन हेतु पाठशालाएँ भी निर्मित हुई और स्वाध्याय के लिए वाचनालय और लाइबेरियां भी बनीं, उन सभी का विस्तार से परिचय देना यहाँ पर संभव नहीं है संक्षेप में उनकी सूची इस प्रकार है(१) श्री तारक गुरु जैन ग्रन्थालय उदयपुर पदराडा (३) श्री अमर जैन ज्ञान भण्डार खाण्डप (४) श्री अमर जैन जागृति मण्डल नान्देशमा (५) श्री पुष्कर गुरु विद्यापीठ उदयपुर (६) श्री अमर जैन आगम शोध-संस्थान - गढ़ सिवाना (७) श्री पुष्कर गुरु जैन लाइब्रेरी गुलेजगढ़ (८) श्री ज्येष्ठ गुरु सेवा समिति उदयपुर (8) श्री पुष्कर गुरु सहायता फंड (१०) श्री पुष्कर गुरु गोशाला सिन्धनूर (कर्णाटक) (११) श्री महावीर जैन सहायता फंड मैसूर , (१२) श्री तारक गुरु जैन पुस्तकालय डबोक (१३) श्री अमर जैन पुस्तकालय गोगुन्दा (१४) श्री तारक गुरु जैन पुस्तकालय ढोल (१५) श्री तारक गुरु जैन लाइब्रेरी सायरा (१६) श्री पुष्कर गुरु जैन धार्मिक पाठशाला ढोल (१७) श्री पुष्कर गुरु राजस्थानी युवकमण्डल सूरत (१८) श्री राजस्थानी स्थानकवासी जैन संघ बम्बई (१६) श्री पुष्कर गुरु धार्मिक पाठशाला डबोक (२०) . गोगुन्दा (२१) , वीरार (महाराष्ट्र) (२२) शिवाजी नगर, बेंगलोर (२३) श्री पुष्कर जैन भवन (२४) श्री अमर जैन धर्म स्थानक गोगुन्दा (राजस्थान) नान्देशमा तिरपाल (२७) यशवन्तगढ़ (२८) , " " ढोल पूना Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.012012
Book TitlePushkarmuni Abhinandan Granth
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDevendramuni, A D Batra, Shreechand Surana
PublisherRajasthankesari Adhyatmayogi Upadhyay Shree Pushkar Muni Abhinandan Granth Prakashan Samiti
Publication Year1969
Total Pages1188
LanguageHindi, English
ClassificationSmruti_Granth & Articles
File Size39 MB
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