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________________ १६४] राजस्थान पुरातत्यान्वेषण मन्दिर कमांक ग्रन्थाङ्क अन्यनाम फर्ता | भापा लिपि- पत्र समय संख्या विशेष २३६ २०७८ अमरसेनवयरसेन रास राजसुन्दर | रा. गू. १८वीं श. २३ सं. १६६७ में जालोर जावालिपुरमें रचना। २१ | २३७४ अम्बरीषी रास माइदास , १८वीं श| १६-२० २८६२ | अम्बडविद्याधररास मंगलमाणिक्य " | १६ ३ ८३ / पालगंजानगर में लिखित । सं. १६३६ मे उजेणी मे रचित। २१३० अर्जुनमालीरी चोपाई | मुक्तिनिधान | रा० | १८६३ -५ सुवाहगाम में लिखित । १८. अपतीसुकुमालचौपाई | जिनहर्षरा गू० १८३१ | ५७-६५ गुटका, रचना सं. (१०) १७४१। २१४६ अवंतीसुकुमालचौपाई | " १६वीं श ८ रचना सं० १७४१ । २३७१ अपतीसुकुमालचौपाई " " ३१-३४ रचना सं. १७४१ । २७ / २८३ | श्रागमवचन (कुमती हीरकलश रा.गू प्रा. १६२१ | २०२-- सं १६१७ में कनक। (१३५) वि०सणाधिकार) चौपाई पुरी में रचित । कर्ता द्वारा स्वयं लिखित । २८ २१४० आणंदुसंधि श्रीसार रा. गू० १८२४ १२ सं १८०० (?)मे पुहकर । पीनयरी में रचना। २६ | २१७७ आणंदल " १६६६ १२ सं. १६८४ मे पुहकर णी में रचना, राजल देसर में लिखित । ३० १२२० आणंदसंधि संवत् १६८४ में पुइकरणीनयरी में रचित। | ३५७३ श्राणंदसंधि " १६वीं श. ८९-७ सं १६८४ पहुकरणी नगरी में रचित । जीर्णप्रति। | ३८७१ श्राणदसंधि " १७६४ कृष्णगढ में लिखित। सवत् १६८४ में पुहकरणीनगरी में रचित। ३३ | २८७६ आणंदसधि वीछवाडीया ग्राम में लिखित । संवत् १६८४ में पुहकरणी नयरी में रचित। - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - - -
SR No.010607
Book TitleHastlikhit Granth Suchi Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJinvijay
PublisherRajasthan Puratattvanveshan Mandir
Publication Year1956
Total Pages337
LanguageHindi
ClassificationCatalogue
File Size12 MB
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