SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 24
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ (२०) क्षेत्रकी यात्रा करनेको जावे चौंतीस मील है। इस गांवका नाम सेंदपा है पपोराजीसे पग तीन मील है । मंदिर तीन हैं ॥ गोलालारे विकोंके तीसं घर हैं। इहांसे एक भादमी रस्तेका जाननेवाला हुशियार साथ जरूर लेवे। खानेका सामान तीन दिनका लेवे ॥१२॥ पगसे समरारा चार मील है। मंदिर एक है ॥ श्रावकोंके घर हैं ॥ इहांसे लार पाँच मील हैं ॥ मंदिर एक है ॥ श्रावकोंके बारा घर हैं। इहांसे बुढेरा छ मील है। मंदिर दो हैं ॥ श्रावकोंके घर हैं। इहांसे नगवा मील बारा है ॥ मंदिर दो हैं ॥ परवार श्रावकोंके तथा गोलालारे श्रावकोंके छत्तीस घर हैं ॥ इहांसे सेंदपा चार मील है। ये दोनागिरि सिद्ध क्षेत्र है । इस दोनागिरि पर्वतजपरसे गुरुदत आदि मुनि मुक्तन्नए हैं । इहां मंदिर बाइस गुफा शुद्धां हैं ॥ ये पर्वत चढना उतरना पांवमीलसे कमती है । इस सेंदपा नगरमें मंदिर एक है ॥ गोलापुरव श्रावकोंके बारा घर हैं । इहां हमेसा सालकी साल मेला चैतबदी तीजसे लगाके चैत शुदी तीजतक होता है बहुतसे आ दमी इकडे होते हैं ॥ १२॥ सेंदपासे मलारा चार मी'ल है। मंदिर एक है ॥ श्रावकोंके सात घर हैं ॥ इहांसे खजरायकी यात्रा तरेसठ मील है। अतिशय क्षेत्र प्राचीन है किसी जाईको यात्रा करनेको जाना होय
SR No.010370
Book TitleJain Yatra Darpan
Original Sutra AuthorN/A
Author
PublisherZZZ Unknown
Publication Year
Total Pages61
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size2 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy