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________________ श्श श्रीगौतमप्टना अर्थसहित. दिवसें पोतानी माताना मुखथी बाप मास्यानुं वैर जाणी आश्रमें जर ज मदग्नि ऋषिने मारी नाख्यो, ते वात परारामें सांजली तेवारेहस्तिनापुरें यावीने कृतवीर्यने मारी पोतें राजगादीयें वैठो, ते वखत कृतवीर्यनी तारा नामें राणी सगा हती,तें परशुरामना जयथो नाशीने वनमां गई. तेनी नप र कोई तापसें दया बाणीने पोताना आश्रमना नोंयरामां बुपावी राखी. ति हां तेणीयें चौद सुपन सूचितं पुत्रने जन्म आप्यो. तेनुं नाम सुनूम पाडयुं. हवे परशुरामें दत्रीयो ऊपर रोष करी फरी फरी सात वखत निक्षत्री पृथ्वी कीधी, जिहां दत्री होय तिहां परशुरामनो कुहाडो जाज्वलमान थाय. एकदा जे. स्थानकें राणी तूपी पेठेली , ते आश्रमें श्रावतां परा रामनो कुहाडो जाज्वलमान थयो, तेवारें परशुरामें तापसोने पूब्युं के यहां कोई दत्री बे? तेवारें तापसो बोल्या के गृहस्थावासमां अमें सर्व दत्री हता, तेवारे तेने कृषियो जाणी बोडी दीधा. एम परशुरामें सर्वदत्रियोने मारीने तेमनी दाढा जश्ने एक थाल नखो. एकदा-परशुरामें बानुं कोई निमितियाने पूज्युं के मारूं मरण केवी रीतें थाशे ? तेवारें निमित्तियायें कह्यु के जेना देखवाथी या दाढा खीररूप थाशे, अने आ ते खीरने सिंहासन पर बेसीने जे जमशे, तेना हाथथी तारूं मरण थाशे. ते वात सांजली परशुरामें एक दानशाला मंमावी तेनी आगल एक सिंहासन रचाव्युं अने दाढाउनो थाल सिंहासन ऊपर रखाव्यो.. एवा अवसरें वैताढ्यपर्वत ऊपर मेघनाद नामा विद्याधरें पोतानी पु त्रीनो वर कोण थाशे? ते माटें निमित्तियाने पूब्युं. निमित्तियायें सुनूम वर बताव्यो, तथा सर्व तेनी हकीगत कही संनजावी, तेवारे ते विद्याधर पोतानी पुत्री सश्ने सुनूमना आश्रमें आव्यो, तिहां पोतानी पुत्री सुनू मने परणावी दीधी. अने पोते पण सुनूमनो सेवक थ रह्यो. ____ एकदा सुनूमें पोतानी माताने पूज्यु के हे माता ! पृथ्वी \ बाटलीज डे? तारे तेने मातायें कह्यु के पृथ्वी तो घणोज ले. तेमां एक माखीना पांख जेटली जगामां या आश्रम बे. तेमां बापणे परशुरामना नयथकी रह्या बैयें ! तथा आपनी पोतानी राजनूमि हस्तिनापुर . इत्यादि सर्ववृत्तांत कही संजलाव्युं. ते सांजली सुनूम रीशे जराणो नोयराथी बाहिर निकल्यो अने मेघनाद विद्याधर सहित हस्तिनापुरमा जिहां दानशाला , तिहां
SR No.010246
Book TitleJain Katha Ratna Kosh Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBhimsinh Manek Shravak Mumbai
PublisherShravak Bhimsinh Manek
Publication Year1867
Total Pages321
LanguageHindi
ClassificationDictionary
File Size37 MB
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