SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 298
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ गाथानुक्रमणिका सत्ता जंतू य माणी सत्तादी अट्ठता सत्तादी छक्कंता सत्तादि दसुक्कस्सं सत्तावीसेदाओ बज्झति सत्ता सव्वपयत्था सत्ता सव्वपयत्था सत्ता सव्वपयत्था सत्ताल धुवाओ सत्तेतालसहस्सा बे सत्तेतालसहस्सा बे सद्दणयस्स दु वयणं सद्दहणासद्दहणं सप्तदिनान्यध्ययनं सब्भावसहावाणं सब्भावो सच्चमणो समओ णिमिसो कट्टा समयो रात्रिदिनयोः सम्मत्तपढमलंभो सम्मत्तपढमलंभस् सम्मत्त रयण- पव्वय सम्मत्तप्पत्ती ए सम्मत्तप्पत्ती सावय सम्मत्तप्पत्ती विय सम्मत्ते सत्त दिणा सम्मत्तं चारित्तं दो च्चिय सम्ममिच्छाइट्ठी सम्माइट्ठी जीवो सम्माइट्ठी सहदि 82/1 51/3 79/3 2/15 13/8 56/9 4/13 18/14 14/8 53/9 9/13 4/7 218/1 95/9 7/4 156/1 8/4 16/4 11/6 12/6 108/1 3/5 1/15 16/10 1/7 7/5 16/6 110/1 14/6 293 29 91 98 253 157 175 212 243 158 175 231 144 68 184 110 50 110 111 132 132 37 120 254 197 153 121 134 37 133
SR No.009235
Book TitleDhavala Uddharan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJaikumar Jain
PublisherVeer Seva Mandir
Publication Year2016
Total Pages302
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size524 KB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy