SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 165
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ [अबल्यं तथा तत्र वियन्ति सन्तः ] श्लोकपादसूची [अब्रवीच न मे जीवन [अ]बल्यं तथा तत्र वियन्ति सन्तः 12. 74. 8t. अबाणे भ्रष्टकवचे 8. 66. 634. अबाध्यन्त दिवौकसः 8. 21. 1420. अबालसदृशं कर्म 7. App. 8. 20 pr. अबालस्त्वं मन्यसे राजपुत्र 2.57. 14". अबाह्योऽसौ पतिर्मम 1. App. 63. 22 post. अविभ्रता पुत्रपौत्रान् 12. 10. 22deg. अबिभ्रदनवद्याङ्गी 12. 308. 10. अबीजत्वान्न जायते 13. 308. 334. अबीमादीजसंभूतं 13. App. 5.6 pr. अबीजां कन्यकाढूं च 13. App. TA. 213A 2 pr. अबीजो बीजमात्मनः 12. 759*. 1 post. अबीभत्साः सुखिता भोगवत्यः 5. 30. 36. अबुद्ध एवाक्रमते 12. 468*.2 pr. अबुद्धजनसेवनात् 12. 291. 42d; 293. 1. अबुद्वपरिवर्जनात् 12. 293. 424. अबुद्धमनुवर्तते 12.292. 1. अबुद्धवशवर्तिनः 13. App. 11. 355 post. अबुद्धश्चाभवत्तस्मात् 13. App. 11. 187 pr. अबुद्वसेवनाचापि 12. 293. 10. अबुद्धस्य प्रपञ्चनम् 13. App. 11. 366 post. अबुद्धा धार्तराष्ट्राणां 4. 11*. 1 pr. अबुद्धापतितेनाथ 13. 84.56". अबुद्धिगम्यं यन्मत्यैः 13. App. 15. 2507 pr. अबुद्धिजं तमस्त्यक्त्वा 12. 19. 13. अबुद्धिता च नास्तिक्यं 14. App. 1. 3314 pr. अबुद्धिपूर्वं कृत्वापि 1. 149.7". अबुद्धिपूर्व धर्मज्ञ 12. 280. 16. अबुद्धिपूर्व ब्रह्महत्या 12. 110. 36. अबुद्विपूर्व भगवन् 12.2.220. अबुद्धिपूर्व यः पापं 12. 116. 1". अबुद्धिपूर्वं वदतां 13. App. 15. 1716 pr. अधुद्धिमान्दुःखमुपैति नित्यं 12. App. 29D. 251. अबुद्विमाश्रितानां च 3. 29. 26". अबुद्धिमोहजैर्गुणैः 12. 309. 68. अबुद्विमोहनं पुनः 12. 309. 61. अबुद्विरज्ञानकृता 12. 197.4". अबुद्धिरेषा महती 9.57. 11". अबुद्धिरेषा युष्माकं 1. 33. 19. अबुद्धिस्त्वभिमन्यते 12. 292. Ast. अबुद्ध्या दुष्यते मनः 12. 197.4. अबुवानुशये दोषं 12. 250*. pr. अबुद्धा मा लिख क्वचित् 1. App. 1. 39A 11 post. अबुवा यन्न गृहीथाः 14. 16. 100. अबुधावर्धते बुधः 12. 288. 25. अबुधानां गतिस्त्वेषां 3. 2. 60*. अबुधास्तं न पश्यन्ति 12. 199.9. अबुधो मार्दवे सति 5. 4.64. अबुधो वा दरिद्रो वा 13. App. 15. 46s pr. अबुध्यत्त वरारोहा 3. 60. 1'. अबुध्यगीमसेनस्तत् 9.07.420. अबुध्यन्त महाराज 10. 8. 220. अबुध्यमानम्ता वाचः 18.2.394. अबुध्यमानः कुरुपाण्डयाय्यः 2. 60. 41". अबुध्यमानां प्रकृति 12. 306. 68". अबुध्यमानौ तं तत्र 1. 46. 296. अबुध्याय वृकोदरः 3. 1219*. 1 post. अबोधयत्कर्णमुपेत्य सर्व 3. 225. 31. अजानां पित्तनेदश्च 12.274.536. अद्धमेक चरेगनतः 13. 180*.7 pr. अड़े शतगुणं प्रो 3. App. 21A. 259A1 pr. अब्दैर्दशाहसंयुक्तं 12. App. 28. 401 pr. अबिन्दुरिव पुष्करे 3. 203. 31. 12. 233. 18%. अब्भक्षणं त्वया राजन् 3. 126.21. अब्भक्षः शरदस्त्रिंशत् 1. 81. 11. अभक्षान्धायुभक्षांश्च 1. App. 17. 14 pr. अब्भक्षा वायुभक्षाश्च 1. 179. 120. 3. 156. 15. 13. 32. "App. 15. 710 pr. अब्भ र्वायुभक्षैश्च 3. G1.59. 12. 17. 10. 13. 130.11. अब्भक्षो वायुभक्षश्च 12. 351.. अनवं च यथावृत्तं 12. App. IFC. 30 pr. अब तमहं भूयः 13. 127*. 1 pr. अनवं नैकवण तं 13. App. 1A.94 pr. अब्रवीच गुरुं देवः 5. 16. 196. अब्रवीच ततो जिष्णुः 17.73.6". अब्रवीच ततो राजन् 7. 149. 356. अब्रवीच्च तदा कणं 7. 127.26. अब्रवीच तदा कर्णः 7. 133. 41. अब्रवीच्च तदा पार्थ 6. 311 . 2 pr. अब्रवीच तदा ब्रह्मा 1. App. 118, 128ASpr. अनवीच्च तदा भीमः 7. 165.64". अब्रवीच तदा राजन 6.91.:". अब्रवीञ्च तदा रामः 3. 1248*.6 pr. 9. 33. ". अब्रवीच तदा श्वेतः 6. App. 4. 212 pr. अब्रवीच्च तदा सर्वान् 16.42*. 1 pr. अब्रवीच न मे जीवन् 7. 13.9". - 157 -
SR No.032840
Book TitlePatrika Index of Mahabharata
Original Sutra AuthorN/A
AuthorParshuram Lakshman Vaidya
PublisherBhandarkar Oriental Research Institute
Publication Year1967
Total Pages808
LanguageEnglish
ClassificationCatalogue
File Size25 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy