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________________ क्रिया और भाव (i) भाव की व्युत्पत्ति (ii) औदयिक भाव (iii) क्षायोपशमिक भाव (iv) औपशमिक भाव (v) क्षायिक भाव (vi) पारिणामिक भाव ★ कर्म - बंध - प्रक्रिया और भाव (i) स्वामित्व और भाव (ii) काल दृष्टि और भाव (iii) भाव और संवेग H (iv) भाव, संवेग और स्वास्थ्य (v) मनोविज्ञान द्वारा सम्मत तथ्य ★ क्रिया और कर्म (i) क्रिया बनाम कर्म (ii) क्रिया और कर्म का सम्बन्ध (iii) आत्मा और कर्म की पारस्परिक प्रभावकता (iv) संबंध का हेतु क्रिया (v) सम्बन्ध कब से ? (vi) कर्म के प्रकार (vii) कर्मों की क्रम व्यवस्था (viii) घाति - अघाति कर्म ★ निष्कर्ष चतुर्थ अध्याय : क्रिया और पुनर्जन्म ★ जैन दर्शन में पुनर्जन्म (i) पुनर्जन्म का स्वरूप (ii) पुनर्जन्म स्मृति के कारण (iii) जैनेतर दर्शनों में पुनर्जन्म (iv) पुनर्जन्म के साधक प्रमाण L 181-222
SR No.032421
Book TitleAhimsa ki Sukshma Vyakhya Kriya ke Sandarbh Me
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGaveshnashreeji
PublisherJain Vishva Bharati
Publication Year2009
Total Pages484
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size28 MB
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