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________________ श्रुत ज्ञान में भक्ति करने वाले की शुभ नामावली १५०१) श्री अखिल भारतीय श्री जैन श्वेताम्बर खरतरगच्छ महासंघ दिल्ली १०००) परमपूज्य आचार्य श्री रूचक चन्द्र सूरीश्वर म० के उपदेश से बोटाड श्री संघ (गुज) १०००) श्री महावीर नगर कादीवली बम्बई श्री संघ १००१) श्री राजकुमार जी जैन वकील दिल्ली ५५१) श्री पूनमचन्द जी जौहरी दिल्ली ५०१) श्री पसन्नमल जी समददिया नागोर वाले ५०१) साध्वी श्री गुणोदया श्री जी (सागर जी समुदाय) की प्रेरणा से २३ साध्वी के वर्षीतप पारणा निमित्ते ५०१) श्री हाथरस श्री संघ की ओर से ५०१) तपगच्छ महिला संघ दिल्ली किनारी बाजार ५०१) श्री जम्मूदेवी मिस्रीमल जी बाफला मोकलेसर (राज) ५०१) रीता धर्मपत्नी सतीश ओसवाल दिल्ली ५०१) त्रिलोकचन्द जी कपूरचन्द जी दृठा ५०१) श्री नांदिया श्री संघ ( राजस्थान ) ५०१) श्री खरतरगच्छ महिला संघ दिल्ली ५०१) श्रीमती सेवती देवी धर्मपत्नी ला० चान्दमल संखबाल दिल्ली ३११) श्री समुद्र विहार पालीताणा ह० कपूरचन्द दृठा २५१) श्रीमती उषा धर्मपत्नी अनील कुमार दिल्ली २५१) साध्वी श्री मनोहर श्री के उपदेश से एक श्राविका २५१) श्री हरिचन्द सुशील कुमार पालावत दिल्ली २५१) देवेन्द्र कुमार जी जैन वीर नगर दिल्ली २५१) श्री अनराज सुखराज जी कोचर दिल्ली २५१) छोगमल जी वीरभान जी चोरडिया दिल्ली २५१) लाला रामलाल जी दिल्ली रूपनगर २५१) श्री खरतरगच्छ जैन संघ दिल्ली २५१) छोटलाल राजेन्द्र कुमार जैन २५१) श्री शीतलदास राख्यान दिल्ली २५१) श्री तारा चन्द जी घनश्याम दास जी दिल्ली
SR No.022301
Book TitleSamveg Rangshala
Original Sutra AuthorN/A
AuthorPadmvijay
PublisherNIrgranth Sahitya Prakashan Sangh
Publication Year1986
Total Pages648
LanguageSanskrit, Hindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size18 MB
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