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________________ ७२ उपर चिह्न करतां जवं, छेक कांई पण शेष रहे नहि त्यां सुधी बाद करवा. पछी जे एकडा उपर उपर चिह्न न होय तेनी हेठे एकडो लखवो अने जे एकडा उपर चिह्न होय तेनी हेठे कांई पण लखवू नहि, किन्तु तेनी बाजुमां चिह्न वगरनो जे एकडो होय तेमां ते भेलवी तेनी हेठे ते अंक लखयो । जेम सात जीवना पांच संयोगीनो सातमो विकल्प पुछयो होय तो सात जीवनी पताकामां पांच संयो गीने सातमे स्थाने ४४ नो अंक छे ते आडी लीटीए ' जे अंक लख्या छे, तेमांना छेल्ला अंक ६४ मांथी वाद करता २० रह्या; तेमांथी १ १ १ ? ? ? ? १ २ ४ ८ १६ ३२ ६४ म्होटो अंक १६ नो बाद थाय छे, माटे १६ ना एकडा उपर चिह्न कयु छ, पछी चार शेष रह्या छे तेमांथी चारनो अंक बाद करतां कांई वध्यु नहि, माटे चारना एकडा उपर चिह्न कर्यु छे पछी चिह्न वगरना अंकनी नीचे एकडा अने चिह्नवाला अंक चे वीजा अंको लखतां नीचे मुजब कोष्टक थयु .. १ २ ४ ८ १६ ३२ ६४ हवे आमां एक तथा बेना एकडा उपर चिह्न नथी माटे तेनी हेठे एक एक लख्यो छ, पछी चारना एकडा उपर चिह्न छ माटे ते एकडो तेनी बाजुना आठ उपरना एकडामां भेलवी तेनी हेठे बे लख्या छ, पछी शोलना एकडा उपर चिह्न छे, माटे ते एकडो तेनी बाजु ३२ ना एकडामां भेलवी तेनी हेठे वें
SR No.022015
Book TitlePrastar Ratnavali
Original Sutra AuthorN/A
AuthorRatnachandra Swami
PublisherAgarchand Bhairodan Sethiya Jain Granthalay
Publication Year1925
Total Pages282
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size10 MB
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