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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir ( ११२) वसंतराजशाकुने-सप्तमो वर्गः। नाशबासौ मूर्द्धदेहप्रकंपादधोमुखं वेत्यमूनि क्रमेण ॥ शांताशेषव्याधिबाधानुबंध दीर्घ कालं जीवयंते मुमूर्षुम्३७२॥ युग्मम् ॥ तारा स्त्रीणां व्याधिनाशं विधत्ते वामा मृत्यु दीर्घतां वा गदस्य ॥ शांते प्रश्ने शांतिदं शांतमेव प्रश्ने दीते शोभनं स्यात्प्रदीप्तम् ॥३७३॥ आमयनाशनमौषधमेतत्पृष्ट इति प्रतिलोमगतिर्या ॥ हंति रुजं सरुजोऽचिरतः सा प्रश्नविपर्ययतस्त्वनुलोमा ॥३७४॥ ॥टीका॥ भक्ष्योत्सौँ वृक्षतचावरोहः विष्ठामूत्रं पक्षिणा विप्रलंभः वियोगः ॥ ३७१ ॥ नाशेति ॥ नाशवासौ मूर्धदेहप्रकंपौ अधोमुखं वेत्यमनि चेष्टाविशेषाणि स्युः तदा शांताशेषव्याधिवाधानुबंधमिति शांता अशेषाः समस्ताः व्याधिवाधायाः अनुबंधाः परंपरा यत्र स तथा असौ मुमूर्षुः विदीर्घ कालं जीवति ॥ ३७२ ॥ युग्मम् ॥ तारेति ॥ तारा स्त्रीणां व्याधिनाशं विधत्ते वामा मृत्युं वा गदस्य दीर्घतो शांतप्रश्न शांतिदं शांतमेव स्यादीप्ते प्रश्ने दीप्तमेव शोभनम् ॥ ३७३ ॥ आमयेति ॥ आम. यनाशनमौषधमेतत् इति पृष्ठे या प्रतिलोमगतिः सा सरुजोऽपिअचिरतः रुजं हंति प्रश्नविपर्ययतस्तु अनुलोमा शुभा॥ ३७४॥ ॥ भाषा॥ जाय और दक्षिणमाऊं शब्दकर और भक्ष्यवस्तुको त्यागकरे और वृक्षपेस उतरत: होय और विट्मूत्रकरे और पक्षी करके वियोग होय ॥ ३७१ ॥ नाशेति ॥ मस्तक और देहकंपा नाश और त्रास ये होंय और नीचो मुख होय और पहले श्लोकमें चया कही ते होय तो मरबेवालाकी सब व्याधि और वाधा अनेक प्रकारकी शांत होय करके दीर्घकालपर्यंत जीवे ॥ ३७२ ।। तारोति ।। श्यामा तारा होय तो स्त्रीनकी व्याधि नाश करे. और बामा होय तो मृत्यु वा रोगकी वृद्धि होय. और शांतप्रश्नमें तो शांतशकुन शांतिक देबेवारो है. और दीप्तप्रश्नमें दीप्तशकुन शुभ है ॥ ३७३॥ आमयेति ॥ ये औषध रोग नाश करबेबारा है ऐसो प्रश्नकरै तब जो श्यामा प्रतिलोम गमन करे तो रोगीके रोग शीवही दूर करै. और जो विपरीत प्रश्नकरै तो झ्यामा अनुलोमा होय तो शुभ करै, नहीं तो अशुभ जाननो ॥ ३७४ ॥ १ फलितार्थकथनमिदम् । For Private And Personal Use Only
SR No.020879
Book TitleVasantraj Shakunam
Original Sutra AuthorN/A
AuthorVasantraj Bhatt, Bhanuchandravijay Gani
PublisherKhemraj Shrikrushnadas Shreshthi Mumbai
Publication Year1828
Total Pages596
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size11 MB
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