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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir (२८) इसलिये बाक़ी कोन अ ब स बराबर हे बाक़ी कोन अ सब के ख० ३ और यह कोन अ ब स समहिबाहु त्रिभुज ब स आधार के ऊपर के हैं और यह भी साबित हो चुका है कि फ ब स और ज सब कोन आपस में बराबर है और यह कोन आधार के नीचे के हैं फल - इसलिये समहिबाहु त्रिभुज के आद्योपान्त - यही साबित करमा था अनुमान -समचिवाहु त्रिभुज के सत्र कोन आपल में बराबर होते हैं टि० ( १ ) इस साध्य को हम इस तरह भी साबित करसक्ते हैं अगर हम अब स त्रिभुज को लौट कर घरातल में इस प्रकार रक्व कि अबिंदु की जगह न बदलो जाय और अब भुष अस भुन पर हो-चंकि अ कोन दोनों त्रिभुजों में शामिल है अ स भुज अ ब भुज पर पड़ेगी और चूंकि अ ब और अ स व्यापस में बराबर हैं स बिन्दु ब बिन्दु पर पड़ेगा और ब बिन्दु स बिन्दु पर पड़ेगा और अ स ब कोन अ ब स कोन को पूरा पूरा एक लेगा और ब स ज कोन सब फ कोन को और इसलिये अ स ब कोन बराबर होगा अ ब स कोम के औौर बसज कोन बराबर होगा सब फ कोन के अभ्यास (१) विघमकोन समचतुर्भुज के ग्रामने सामने के कोन आपस में बराबर होते हैं (१०) अगर एक ही आधार पर दो बम दिवाह विभुज हों और व्या धार के सामने के कोनों के दर्मियान एक रेखा खींची जाय तो वह रेखा योंही या बढ़ कर व्याधार को दो बराबर हिस्सों में बांटेगी और व्याघार के साथ समकोन वनावेगी (११) पांचवीं साध्य को वर्ग र हरूफ रक्खे साबित करो साध्य ६ प्रमेयोपपाद्य अगर किसी त्रिभुज के दी कोन आपस में बराबर सा० सूत्र हों तो उन कोनों के सामने की भुज भी आपस में बराबर होंगी ० सूत्र फ़र्ज़ करो कि अ व स एक त्रिभुज है और उसके वि० अ ब स और अ स ब कोन आपस में बराबर हैं For Private and Personal Use Only
SR No.020605
Book TitleRekhaganit
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAtmaram Babu
PublisherAtmaram Babu
Publication Year1900
Total Pages220
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size20 MB
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