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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir सुमिठ ( ८१६ ) सुरंगीयो सुमिठा-वि० [सं० सुमिष्ठम्] मधुर । सुयक्खंध सुयखंध-पु० [सं० श्रुति-स्कंद] वेदों का एक विभाग । सुमिरण-पु. स्वप्न । सुयगडांग-पु० 'कृताङ्ग नामक सूत्र । सुमिणा, सुमिरणो-पु० [सं० स्वप्न] स्वप्न, सपना । सुयण-देखो 'सैरण' । सुमितरा-देखो सुमित्रा'। सुयस-पु० [सं० सुयश] कीति, यश, बड़ाई, तारीफ, सुख्याति । सुमित्त-देखो 'सुमित्र'। सुयसा-स्त्री० [सं सुयशा] १ राजा परीक्षित की एक पल्ली। सुमित्र-पु० [सं०] १ श्रेष्ठ व मच्छा मित्र । २ श्रीकृष्ण का एक | २ एक अप्सरा। पुत्र। ३ अभिमन्यु के सारथी का नाम । ४ इक्ष्व कुवंशीय सुपारण-देखो 'सुजाण'। एक राजा । ५ देखो 'सुमित्रा'। सुयुद्ध-पु० [सं०] न्याय-सम्मत-युद्ध, धर्म युद्ध । सुपोग-पु० [सं०] १ पच्छा योग, शुभ संयोग, शुभ अवसर या सुमित्रा-स्त्री० [सं०] १ अयोध्या के राजा दशरथ की एक ___ मौका । २ देखो 'सुयोग्य' रानी तथा लक्ष्मण व शत्रुघ्न की माता । २ श्रीकृष्ण की एक सुयोगता-स्त्री० [सं० सु-योग्यता] योग्यता, सुयोग्यता । रानी। ३ मार्कण्डेय ऋषि की माता। -नंदन सुत, सुयोग्य पु० [सं०] बहुत योग्य, काबिल, लायक । सुतन -पु० लक्ष्मण, शत्रुघ्न । सुयोधन (नि, नी)-पु० [सं० सुयोधनः] दुर्योधन का एक सुमियारणी-पु० मारवाड़ राज्यान्तर्गत सिवाणा कस्बे के गढ़ का नामान्तर। नाम। सुयो-१ देखो 'सुवो' । २ देखो 'सूत्रो'। सुमिरण-देखो 'स्मरण'। सुर-१ देखो 'स्वर'। २ देखो 'सुर'। सुमिरणी-देखो 'समरणी'। सुरंग-स्त्री० [स०] १ किसी मकान, किले, गढ़ या दीवार के मुमिरणो (बी)-देखो 'सुमरणो' (बी)। अन्दर से होता हुमा भूमितल में बना तंग रास्ता जो सुमिरन- देखो 'स्मरण' । पापात् स्थिति में किसी सुरक्षित स्थान में पहुंचने के काम सुमुख-पु० (स०] १ गणेश, गजानन । २ शिव, महादेव । प्राता है, गुप्त मार्ग । २ किले की दीवार पादि को उड़ाने ३ गरुड़ । ४ पंडितजन । ५ नाखून की खगेंच । -वि. के लिये बनाया गड्ढा या छेद जिसमें बारूद भरकर पलीता [सं० सुमुख) (स्त्री० सुमुखा, समुखी) १ मनोहर, सुन्दर। लगाया जाता है । ३ चोरी के उद्देश्य से दीवार में किया २ भानन्दकर, सुखप्रद । ३ पातुर, उत्सुक। ४ सुन्दर जाने वाला छेद । ४ विस्फोट के लिये बारुद भरने का मुख वाला। गड्ढा । ५ पहारको गुफा, गिरि-कन्दरा । ६ पहाड़ में समुखा, सुमुखी-वि० [सं०] सुन्दर मुख वाली, सुन्दरी ।-स्त्री. पड़ा छेद कर, बनाया गया रेल मार्ग या सड़क ।-पु. १ सुन्दर स्त्री । २ एक अप्सरा । ३ संगीत में एक मूच्छंना । ७अच्छा रंग या वर्ण । ८ सूर्य के रथ का सारथी, अरुण । सुमुखो-वि० [सं० सुमुख) (स्त्री० सुमुखी) सुन्दर मुख वाला ।- 8 लाल रंग का घोड़ा। १० घोड़ा, अश्व . ११ मानन्द, - पु० प्राइना, काच, शीशा। सुख । १२ अट्ठाईस मात्रा का छन्द विशेष ।-वि० (स्त्री० सुमेधा-पु० [सं० सुमेधस्] १ पितरों का एक गण या भेद । सुरंगी) १ उत्तम, श्रेष्ठ । २ अच्छा, बढ़िया । ३ सुन्दर, -स्त्री० २ माल कंगनी । सुडौल । ४ अच्छे रंग का, सुन्दर रंग का । ५ लाल । सुमेर, सुमेरगिर, सुमेरु सुमेह-पु. [सं०सुमेकः] १ पुराणानुसार ६ जोश पूर्ण, जोशीला । ७ सुन्दर, सुहावना । ८ स्वच्छ, एक पर्वत जो स्वर्ण का माना गया है। २ नाम जपने की साफ । ९ अनूठी उक्तिवाला । १० शुभ । ११ मधुर, मीठा । . माला के मध्य का बड़ा मनका । ३ शिवजो का एक नाम। सुरंगी वि० १ हंसी-खुशी, उत्साह-उमंग से भरपूर, मानन्दमय । सुमोज-पु० उत्सर्ग दान । २ हरी-भरी। ३ सुन्दर, प्राकर्षक । ४ पारामदायक, सुमोर-पु० [सं० सु+मोदः] हर्ष, प्रसन्नता, खुशी। सुखदायक । ५ अच्छे रंग वाली, सुन्दर रग की। ६ देखो सुमौरत-पु. [सं० सु+मुहूर्त ] श्रेष्ठ व उत्तम मुहूर्त । 'सुरगो'। सुयं-देखो 'स्वयं'। सुरंगीयो, सुरंगौ-वि० [स० सुरंग] (स्त्री. सुरंगी) १ सुन्दर, सुपंबर (वर)-देखो 'स्वयंवर'। मनोहर । २ पानन्दमय, सुखमय । ३ उत्साह, जोश व सुप-पु० [सं० सूत्र] १ जिनेन्द्र की वाणी या सूत्र । २ देखो। उमंग से पूणं । ४ रक्ताभ, लाल । ५ अच्छे रंगों का, सुन्दर रगों का। ६ प्रफुल्लित, प्रसन्न । ७ शुभ । ८ बेष्ठ, सुपकरण-पु. [सं० श्रुतकरण] व्याकरण, दूसर। कलामो प्रादि उत्तम । ९ अच्छा, बढ़िया । १. स्वच्छ, साफ । ११ मधुर, की ज्ञानरूप, अवस्था विशेष । प्रिय । १२ रसिक । १३ सुशोभित । १४ हरा भरा। For Private And Personal Use Only
SR No.020589
Book TitleRajasthani Hindi Sankshipta Shabdakosh Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSitaram Lalas
PublisherRajasthan Prachyavidya Pratishthan
Publication Year1987
Total Pages939
LanguageHindi
ClassificationDictionary
File Size21 MB
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