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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra १८६ www.kobatirth.org मुंबई के जैन मन्दिर सूरीश्वरजी म. आदि मुनि भगवंतो की पावन निश्रा में वि.सं. २०४२ का मगसर सुदि ७, तारीख ५ - ११-८६ को हुई थी । (२९६) Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir चार देहरी वगैरह की पुनः प्रतिष्ठा यानी दूसरी प्रतिष्ठा परम पूज्य आ. श्री विजय भुवन भानु सूरीश्वरजी म. के समुदाय के आ. श्री विजय राजेन्द्रसूरीश्वरजी म. आदि मुनि भगवन्तो की पावन निश्रा में वि.सं. २०४७ का वैशाख वदि १० को हुई थी । जिसमें श्री शान्तिनाथ भगवान, रायण पादुका, पुण्डरीक तीर्थ, सिद्ध पादुका, तलेटी यानी मिनी शत्रुंजय की रचना की थी । ध... मं... धा... म... अमदावाद - मुंबई नेशनल हाईवे नं. ८८ चिलार फांटा के पास, चिलार, ता. पालघर, जिला थाणा, महाराष्ट्र, टे. फोन नं. रसिकभाई - ८०७१२१३, ८०७ ९४५३ विशेष :- आजीवन जैन शासन के महाप्रभावक, शासन के महान ज्योतिर्धर, युग दिवाकर पूज्यपाद आचार्य भगवन्त श्री विजय धर्मसूरीश्वरजी म.सा. के पुण्य स्मारक रूप में यह 'धर्मधाम' का निर्माण पूज्यपाद आचार्य भगवन्त श्री विजय सूर्योदय सूरीश्वरजी म.सा. की पुण्य प्रेरणा व मार्गदर्शन से हो रहा हैं । इस निर्माण के लिये ओराण हाल कांदिवली (प.) के निवासी सेठ श्री रसिकलाल डाईयाभाई महेता और उनकी धर्मपत्नी मधुकान्ता बेनने नेशनल हाईवे नं. ८ पर महालक्ष्मी पेट्रोल पंप-दुर्वेश गाँव और सोमटा गाँव के बीच में, महालक्ष्मी पेट्रोल पंपसे ९ कि. मी., मनोर चोकडी से ५ कि.मी. और सोमटा गाव से ९ कि.मी. के अन्तर में हाईवे से बिल्कुल लगे हुए विशाल भूमि खण्ड को अपने द्रव्य से संपादित किया है, जो पहाडीयो की हरियाली गोद में रमणीय स्थल पर आया हैं, और सर्व सुविधाओं से युक्त हैं। महालक्ष्मी पेट्रोल पम्प से विहारकर के सोमटा जाने वाले पू. साधु-साध्वीजी म.सा. के लिये यह धर्मधाम - विहारधाम के योग्य स्थान बहुत अनुकूल और आशीर्वाद रुप बनेगा, फिर चिलार फांटा के अन्दर जाना आवश्यक नहीं होगा। हाईवे पर दिन रात अपनी गाडीओं में आने-जानेवाले जैन लोगो के लिये भी यह स्थान सर्व सुविधा युक्त बनेगा । सोमटा से आते समय, सब जंगल और घाटीया पास होने के बाद तुरन्त सम स्थल भूमि पर यह धर्म-धाम बनेगा । प्रारंभ में यहाँ वि.सं. २०५४ के पोष वद ९ के शुभ मुहूर्त में भूमि पूजन - खनन और शिला स्थापना विधि हुई हैं । अब क्रमशः प्लान तैयार होने पर कार्य आगे बढेगा । विशेष :- नेशनल हाइवे पर सोमटा, चारोटी नाका और अंबोली गांव में जैन उपाश्रयो की अच्छी व्यवस्था है । For Private and Personal Use Only
SR No.020486
Book TitleMumbai Ke Jain Mandir
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBhanvarlal M Jain
PublisherGyan Pracharak Mandal
Publication Year1999
Total Pages492
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size28 MB
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