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________________ कृति उपरथी प्रत माहिती पे. नाम- उवएसमाला प्रकरण, पे. विशेष- संपूर्ण. झेरोक्ष पत्र-१-२४. संपूर्ण गाथा-५४३ है परंतु प्रतिलेखक द्वारा गाथा-५४४ का उल्लेख किया गया है. लगभग आधी प्रत के वामपार्श्व भाग कहीं कम तो कहीं अधिक रूप में खंडित है. प्रत विशेष- पत्रांक-१६९-१९६ नहीं हैं. कुल झे.पृष्ठ-९७, डीवीडी-७/१७ पाताहेसं ११९- पे.क्र. २९, पृ. ८७-१४१, पुष्पमालाप्रकरण आदि उपदेशमालाप्रकरण , संपूर्ण पे. नाम- उवएसमालापगरण, पे. विशेष- गाथा-५४०. किसी अन्य प्रत के पत्र होने की संभावना है. प्रत विशेष- झेरोक्ष पत्र-१०१ से १२४ व ताडपत्रीय पत्र-८७-१४१ किसी अन्य प्रत के पन्ने हैं. __ कुल झे.पृष्ठ-१२४, डीवीडी-७/१७ पाताहेसं १२२- पे.क्र. २, पृ. ???, नवपदप्रकरण आदि, संपूर्ण डीवीडी-७/१७ पाताहेसं १५१- पे.क्र. १, पृ. ?, उपदेशमालाकथासङ्क्षपविवरणादि त्रुटक खण्डित अपूर्ण नकामा पानानो सङ्ग्रह, संपूर्ण पे. नाम- उपदेशमालाकथासंक्षेपविवरण, पे. विशेष- अपूर्ण. पत्र त्रुटक व अव्यवस्थित है. झेरोक्ष पत्र-१-२४. गाथा-४२९ तक मिलती है. कुल झे.पृष्ठ-४२, डीवीडी-८/१७ पाताहेसं १६१- पे.क्र.४, पृ. ५४-८८, दशवैकालिकसूत्र आदि प्रकरण सङ्ग्रह, वि-१३८९, संपूर्ण पे. विशेष- गाथा-५४४. प्रत विशेष- प्रान्ते कृतिओनी अनुक्रमणिका आपेली छे. __कुल झे.पृष्ठ-१७०, डीवीडी-८/१८ पाताहेसं १७९- पे.क्र.५, पृ. १२९-१६५, दशवैकालिकसूत्र आदि, वि-१३७२, संपूर्ण डीवीडी-९/१९ भांता २३, पृ. २९९, उपदेशमाला सह दोघट्टीवृत्ति, वि-१२९३, संपूर्ण प्रत विशेष- सूचीपत्र-नं.२-२४३., पत्र-२९९+१=३००. डीवीडी-६८/७७ भांता २४- पे.क्र. १, पृ. १-५७A, उपदेशमालाप्रकरण आदि, पूर्ण पे. विशेष- सूचीपत्रांक-२-२३३. प्रत विशेष- सूचीपत्र-नं.२-२३३. डीवीडी-६८/७७ भांता २५- पे.क्र. १, पृ. १-५२A, उपदेशमालाप्रकरण आदि, संपूर्ण पे. विशेष- सूचीपत्र-नं.२-२३२. प्रत विशेष- भण्डार संदर्भाक-७४(A)/८०-८१. सूचीपत्र-नं.२-२३२. डीवीडी-६९/७७ भांता ६४- पे.क्र. १, पृ.?, उपदेशमाला आदि प्रकरणसङ्ग्रह, संपूर्ण पे. नाम- उवएसमालापगरण, पे. विशेष- अपूर्ण. गाथा-५४३. प्रारंभ के पत्र नहीं है. गाथा-३५ तक नहीं है. ताडपत्रीय पत्रांक झेरोक्ष में नहीं आया है. झेरोक्ष पत्र-१-११. कुल झे.पृष्ठ-६०, डीवीडी-७२/८१ तालाद ३२१, पृ. २७४, उपदेशमाला सह हेयोपदेयाटीका, संपूर्ण प्रत विशेष- प्रथम पत्र अनुपूरित रूप है. इस प्रति में मंगलगाथा जगचूडामणिभूओ है. कुल झे.पृष्ठ-२१८, डीवीडी-९३/९५ तालाद ३२५, पृ. ३०२, उपदेशमाला सह बालावबोध, वि-१५मी, संपूर्ण कुल झे.पृष्ठ-१०६, डीवीडी-९४/९५ तालाद ३२८, पृ. २७२, उपदेशमाला सह हेयोपादेयावृत्ति, वि-१२१९, संपूर्ण 112
SR No.018002
Book TitleHastlikhit Granthsuchi Part 2
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJambuvijay
PublisherStambhan Parshwanath Jain Trith Anand
Publication Year2005
Total Pages895
LanguageHindi
ClassificationCatalogue & Catalogue
File Size6 MB
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