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________________ बीजक बीजक पुं० बिजोरुं (२) घणां बीजवाळां केलांक फळोनुं नाम (३) न० यादी (४) बीज; बी बीजगणित न० अक्षरगणित; 'एल्जिना' बीजनिर्वापण न० बीज वावदां ते बीजन्यास पुं० नाटकना वस्तुनुं बीज प्रगट कर बीजपुष्प, बीजपूरण पुं० बिजोरानुं झाड बीजवाप पुं० बीज वावनारो; खेडूत बीजाकृत वि० बीज वावेलुं (खेतर) बीजांकुर पुं० बीजमांथी फूटे लो फणगो बीभत्स वि० चीतरी चडे तेवुं ( २ ) बिहामणुं ; घोर ( ३ ) पुं० तिरस्कार; चीतरी ; अणगमो ( ४ ) न० चीतरी चडे तेवुं कांई पण [ छाती बुक्क पुं०, न०, बुक्कन् पुं० हृदय (२) बुक्कस पुं० चांडाळ बुक्का स्त्री० हृदय बुक्कार पुं० सिंहनी गर्जना बुक्की स्त्री० हृदय बुद्ध (‘बुध् 'नुं भू० कृ०) वि० जाणेलुं; समजेलु (२) जागेलुं (३) निहाळेलुं (४) समजणवाळं; डाहधुं (५) विकसित (६) पुं० गौतमबुद्ध (७) ज्ञानी के sri माणस; ऋषि (८) परमात्मा (९) न० ज्ञान ३४३ बुद्धि स्त्री० वस्तुने जाणवानी चित्तनी आकलन- के समज- शक्ति; अक्कल (२) समज; ज्ञान; माहिती ( ३ ) विवेक ; डहापण ( ४ ) मन ( ५ ) तरतबुद्धि (६) मान्यता; अभिप्राय ( ७ ) हेतु प्रयोजन ( ९ ) ( मूर्छामांथी) भानमां आवबुं ते (१०) उपाय (११) महत् तत्त्व (सांख्य०) बुद्धिकृत् वि० मानतुं धारतुं बुद्धिकृत वि० बुद्धिपुरःसर करेलुं बुद्धिजीविन् वि० बुद्धि वडे जीवतुं विचारपूर्वक वर्ततुं Jain Education International बुभुत्सु बुद्धिपूर्वकम्, बुद्धिपूर्वम् अ० जाणीबूजीने; समजी- विचारीने बुद्धिप्रागल्भी स्त्री० विवेकबुद्धिनी सचोटता के परिपक्वता बुद्धिभेद पुं० बुद्धिनुं डामाडोळपणुं बुद्धिमत् वि० बुद्धिमान; बुद्धिशाळी (२) बुद्धिशक्तिवाळं (३) डाहघुं; समजदार ( ४ ) तीक्ष्ण बुद्धिवाळु बुद्धिलक्षण न० बुद्धिनी निशानी बुद्धिलाघव न० उपरचोटिया के तुच्छ rat बुद्धि; अपरिपक्व बुद्धि बुद्धिशस्त्र वि० बुद्धि वडे सज्ज बुद्धिहीन वि० बुद्धि वगरनुं; बेवकूफ बुद्धींद्रिय न० ज्ञानेंद्रिय ( श्रोत्र, त्वचा, आंख, जीभ, नासिका) बुद्धघवज्ञान न० पोतानी बुद्धिनी अवगणना के अनादर बुब्बुद पुं० परपोटो बुब् १उ०, ४ आ० जाणवु; समजवुं (२) निहाळवु; जोवुं (३) मानवुं; धारवुं ( ४ ) ध्यान आपवुं ( ५ ) विचारखुं (६) जागवुं; ऊंघमांथी ऊठवुं (७) भानमा आव - प्रेरक० उ० जणाववुं ( २ ) शीखववुं (३) सलाह आपवी (४) सजीवन करवु; भानमां लाववुं (५) जाग्रत करवुं (६) खिलाववुं ; विकसाववु बुध वि० डाहघुं; शाणुं; समजदार (२) बुद्धिशाळी (३) जागतुं (४) पुं० डाह्यो माणस (५) देव (६) एक ग्रह बुध्न पुं० वासणनी नीचेनुं बूधुं - तळियुं बुभुक्षा स्त्री० भूख ; खावानी इच्छा (२) कांई पण भोगववानी इच्छा बुभुक्षित वि० भूख्यं; भूखथी पी बुभुक्षु वि० भूख्यं ( २ ) भोगनी इच्छावाळु ( ' मुमुक्षु 'थी ऊलटं ) [ जारी बुभुत्सा स्त्री० जाणवानी इच्छा; इंतेबुभुत्सु वि० जाणवानी इंतेजारीवाळु For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.016092
Book TitleVinit Kosh
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGopaldas Jivabhai Patel
PublisherGujarat Vidyapith Ahmedabad
Publication Year1992
Total Pages724
LanguageHindi
ClassificationDictionary & Dictionary
File Size14 MB
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