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________________ अमूढहत्थ अंगसुत्ताणि शब्दसूची अयल अमूढहत्थ [अमूढ़ हस्त] नाया० १।६।१२ अम्मापिइ [अम्बापितृ] अंत० ५।१६ ; ६।३६ अमेज्ज [अमेय ] भ० ११।१५१ अम्मापिउ [अम्बापितृ] आ० चू० १५।१६,२६. अंत० अमेधावि [अमेधाविन् ] सू० २।१७ से १० ३१६६, ७३, ६।६६ अमोक्ख [अमोक्ष ] सू ० १।३।६७ अम्मापियर [अम्बापित] आ० चू० १५।१३, २५. अमोसली [अमोसली] ठा० ६।४६।१ अंत १।१६; ३६, १०,५४, ६३ से ६६, ६६ से ७३, अमोह [अमोध] भ० ३।२५३; ८।३५३. विवा० १।४।४ ७६ से ७८, ८३,८४,६।३५ से ३८, ८६ से ६५.विवा० अमोह [अमोह] ठा० ८।६७।१; ६।३६।१. भ० ११२।३४, ४७, ४८, ६६, ७०, ११४।२१, ३४; १७.३५ १५।१८; १।६।२७; १।४।१०, ११, ३२, ४७; अमोहदंति [अमोघशिन् ] विवा० १।३।३, ४ २१११११, ३४ अमोहा [अमोघा] ठा० ४।३४२ अम्मो [अव्यय, दे०] नाया० १।१४।२६ अम्मगा [अम्बा] भ० ६।१४८ अम्ह [अस्मत् ] आ० ११. आ० चू० १३१२१. सू० १११॥ अम्मड [अम्बड] भ० १४।१०७, १०६, ११२ ४७. ठा० १११. सम० १११. भ० १११३५. नाया० अम्मधाई | अम्बांधात्री] नाया० १।८।१२३, १२५ से १११।२०. अंत० ३।३०. अणु० १११०. पहा० ११२६. १२८; १११४१२६ से २८; १।१६। ३३, ३४. विवा० विवा० १११२१ १।११६५ से ३७ अय [अज] सू० ११५११५, ३१, ३५, ४१. ठा० २१३२४. अम्मधाती [अम्बाधात्री] भ० ६।१६४; १३।११७ उवा० ७।५०. पण्हा ० ५।१, १०. विवा० ११४.१६ ; अम्मया [अम्बा ] सम०प्र० २३६।१. नाया० १।१।३३, १।६।१४, २३ ; ११७।१६; १।८।११ ४५, ४६, ५८, १०२, १०४, १०६, १११, ११३, अय [अयस्] ठा० ४।५४६. भ० ५।५२; १३।१५१; १२१, १।२।१२, १७, १।८।३०, २०४; १।६।४, १६६, ७, ९६; १८५१०६. विवा ० १।६।८, १३ ६, १०, २१।२०, २५. उवा० ३।४४. अत० २।३१, अयंपूल [अयम्पूल] भ० ३।२६४; ८२४२; ४३, ४६, ६६,७१, ७३; ६।३५, ३७, ६०, ६२, ६४. १५५१२८ से १३३, १३६, १३८ अणु० ३।१५. विवा० १।२।२४, २६; १।३।२४; अयकरग [अजकरक] ठा० २।३२५ ११७।१६, २३ अयकवल्ल | दे० भ० ३.१४८; १६।५२ अम्मा [अम्बा] आ० चू० १५।१८. ठा० ३८७; अयको? [अयःकोष्ठ] भ० १६।६, ७ ४१४३०, ५३८; ६।६२. सम० प्र० ६४ से ६६. भ० अयकोटुअ [अधःकोष्ठक ] उवा० २।२१ १।३५२ ; ८।२४२ ; ६।१६४, १६७, १७० से १७६, अयगर [अजगर] सू० २।३।७६. भ० १५१८६. पहा० १७८, १७६, १८२, १८३, १६०, २१०, २१३; १७; २०१२ ११।१०६, ११०, १५३, १५५ से १५६, १६६, १६७; अयगोल [अयोगोल] सू० २।२।५६ १५।१८, २०, १६६, १७०, १८६. नाया० १३१८१, अयण अयन] ठा० २।३८६. भ० ५।१७, १८, ६।१३२; ८३, ८४, ८६, ८७, ८६ से ६१, १०१ से १०४, २५१२४६. नाया० ११५।३६, १०७ से ११५, १२०, १२१, १२८, १४५, १४६, अयत [अयत] सू० २।२।५८ । १४८; १।२।२३, २४; १।८।७, १२६, २०४; १।६।४ अय (पत्त) [अयस् (पात्र) ] पाहा० १०।४ से ८, १५, ४७ से ५०; १।१६।३४, ३५, ५४, अयपाय [अयस्पात्र| आ० चू०६।१३ १०६, १२६, १६३, ३०६ से ३०८; १।१८।६, १०, अयबंधण [अयस्बंधन] आ० चू० ६।१४ १३, १५; २।१।२०, २१, २४, २५, २७. उवा० ३।४४, अयमीण [अयमान] सम० ८८७, ८, ६८।५,६ ४६. अंत० ११४५, ४७,५१. पण्हा० २।५ अयल[अचल ] सम० १।२;८०।३. प्र० २४१।२. भ०१७. Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.016053
Book TitleAgam Shabdakosha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMahapragna Acharya
PublisherJain Vishva Bharati
Publication Year1980
Total Pages840
LanguagePrakrit, Sanskrit
ClassificationDictionary, Dictionary, Agam, Canon, & agam_dictionary
File Size17 MB
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