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________________ बरखेड़ा तीर्थ पर महत्तरा साध्वी सुमंगला श्री जी की निश्रा में विजय वल्लभ रथयात्रा का अपूर्व स्वागत: दिनांक 23.02.2004 सायं 5 बजे विजय वल्लभ रथयात्रा का बरखेड़ा तीर्थ पर अपूर्व स्वागत किया गया। तीर्थ के ट्रस्टियों, महत्तरा साध्वी सुमंगला श्री जी द्वारा रथयात्रा का स्वागत किया गया। गुरुवर के आगे गहुंली, चामर, माल्यार्पण, वासक्षेप पूजन, आरती का लाभ बोलियों द्वारा लिया गया। इस अवसर पर देहली, जयपुर से भी भाई बहन पहुंचे हुए थे। पीलीबंगा और सूरतगढ़ में विजय वल्लभ रथयात्रा का गर्मजोशी से स्वागत दिनांक 24.02.2004 सायं 5 बजे eAD विजय वल्लभ रथयात्रा पीली बंगा| पहुंची जहां मूर्तिपूजक संघ, स्थानकवासी तथा तेरापन्थी समुदाय तहेदिल से रथयात्रा का वंदनअभिनंदन किया। शहर में बैंड-बाजे के साथ धूमधाम से रथयात्रा निकाली गई। जैन श्वेताम्बर मूर्तिपूजक संघ की ओर से श्री मोती लाल डागा ने गुरु प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। दिनांक 24.02.2004 रात्रि 9 बजे विजय वल्लभ रथयात्रा सूरतगढ़ पहुंची, रथयात्रा का वंदन-अभिनंदन करने, पूरा सूरतगढ़ श्रीसंघ शहर के बाहर स्वागत करने पहुंचा हुआ था। वंदन-अभिनंदन करने, पूरा सूरतगढ़ श्रीसंघ शहर के बाहर स्वागत करने पहुँचा हुआ था श्री दिलात्म प्रकाश जैन सहित गणमान्य व्यक्तियों द्वारा गुरु प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया। बैंड बाजे के साथ धूमधाम से रथयात्रा शहर के मध्य निकाली गई जो श्री मन्दिर जी जा कर समाप्त हुई। जहां आरती बोली द्वारा करवाई गई। श्री पार्श्वनाथ जैन मूर्तिपूजक संघ के प्रधान श्री केसरी चन्द जी डागा व मंत्री श्री मदन लाल डागा ने पूरा योगदान दिया एक विशेष बात रही कि जैनेत्तर भाइयों द्वारा 30kg. लड्डुओं की प्रभावना बाटी गई। श्री दिलात्म प्रकाश जैन सहित गणमान्य व्यक्तियों द्वारा गुरु प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया। दिनांक 24.02.2004 रात्रि 9 बजे विजय वल्लभ रथयात्रा सरतगढ़ पहुंची, रथयात्रा का 1501 विजय वल्लभ संस्मरण-संकलन स्मारिका 99 JIn Education international For Private & Personal use only www.jainelibrary.org
SR No.012061
Book TitleVijay Vallabh Sansmaran Sankalan Smarika
Original Sutra AuthorN/A
AuthorPushpadanta Jain, Others
PublisherAkhil Bharatiya Vijay Vallabh Swargarohan Arddhashatabdi Mahotsava Samiti
Publication Year2004
Total Pages268
LanguageHindi, English
ClassificationSmruti_Granth & Articles
File Size51 MB
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