SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 333
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ । रतन परीक्षक! देश में होता है ॥संगपशव ॥ यह दो किस्मका होता है एक मोतिया दूसरा अंगरी यह चीन देश, दयी ओक्स और हिमालय में पैदा होता है. ॥मारमहुरा ॥ इसका रंग काला होता है. ईरान और तिब्बत देश के पहोडों में मिलता है ॥ संगतवा ।। इसका रंग लाल गेरु के समान होता है. यह रात्रि घरके ताप को दूर करने वाला है, मंगलीक है. ॥संगसलेट ।। यह जेपुर अलवर बुदेल खंड आदि देशों में मिलता है. इ स पर लिख कर विद्यार्थी अंक विद्यासांपते हैं ॥संगमर्मर ॥ इसका रंग चिट्टा चमकदार होता है जेपुर, जोधपुर, अलवर ओदि के पहाड़ों में मिलता है.बलदेव गढ़ के पास भी नि. कलता है परंतु इसका रंग प्याजी होता है. गजभर चौडा गजभर लम्बा और गजभर ऊचा तोल में५० मन तक का होता है. जोइलाके अलवर में सोरी नाम जगह में पैदा होता है उसका रंगचिट्टा ओर ऊपर स्याह धब्बे होते हैं इसको मूर्तीमकानादि बनाई जाती हैं जो अति शोभाय मानहोती हैं. ॥संग कुरंड ॥ इसका रंग नीम गुलाबी श्रेष्ठ है भूसा धोले रंग का भीहोता है लोहे पर जिला इसी से की जाती है पैदा गंडकी नदी बीच होता है पर थोडा
SR No.011027
Book TitleLecture On Jainism
Original Sutra AuthorN/A
AuthorLala Banarasidas
PublisherAnuvrat Samiti
Publication Year1902
Total Pages391
LanguageEnglish
ClassificationBook_English
File Size14 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy