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________________ राजस्थान ग्रायविद्याप्रतिष्ठान---विद्याभूषण-ग्रन्य-संग्रह-सूची ] कर्त्ता उपर ग्रन्यनाम (३४) (७९) रघुपाका विणजारा (५०) पठाणकर विणणारा (८१) ज्ञानविलोकका पद (५२) वाचनीय (३) वेदासका पद (८४ ) ईशरदासका पद (८५) कवित्त (८६) चौबीस सिद्धि (८७) नापाका पद (५८) छीतमका पद ( 5 ) जगजीवनका पद (६०) जंमनका पर्व (११) जैमलकी साखी (६२) टीलाका पद (६३) बखनाका पद ( व्याहलो) ( ६४ ) प्रकललीला श्रौर पद (१५) रज्जवकी साखी (१६) भेटका सवैया (१७) सोहाका पद * (85) भुवनको पद रघुवा पठाण शानत्रिलोक रज्जब ( ? ) बेईदास चारण ईशरदास चारण " नापादास छीतमदास जगजीवनदास ( टहलडी वाले) जैमल ( दादूशिष्य ) टीला बखना रज्जव " 71 सीहा भवन "" " लिपिसमय १७१५ "3 "" "" " " "1 '; " " " >> "1 " "1 "" "" " 71 पत्रसंख्या ३३६व विशेष विवरण आदि इनके और पद ५५६ पत्र पर भी हैं। [ ४२
SR No.010606
Book TitleVidyabhushan Granth Sangraha Suchi
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGopalnarayan Bahura, Lakshminarayan Goswami
PublisherRajasthan Prachyavidya Pratishthan Jodhpur
Publication Year1961
Total Pages225
LanguageHindi
ClassificationCatalogue
File Size9 MB
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