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________________ राजस्थान प्राच्यविद्याप्रतिष्ठान - विद्याभूषण-ग्रन्थ-संग्रह- सूची ] कर्त्ता क्रमाङ्क "" (१३८) | (६०) (६१) (६२) (६३) (६४) (६५) (६६) (६७) (६८) (६) (७०) जोगको (७१) विरहकी "" १३६ | प्रारतीपद ( व्रजरसतरङ्ग ) १४० जयसाह - सुजसप्रकाश रावलचरित्र 19 31 15 15 33 "1 "} 17 " ग्रन्थमाला "1 मुरलीदासजीकी विरहकी 19 "3 37 33 "" भक्तिकी विरहको राधिकाविरहकी १४१ १४२ जाट इतिहाससे जयपुर के राजाओं का हाल १४३ | रसिकाह्लाव- रुक्मिणीमंगल १४४ हमीररासो (हमीरायण ) मुरलीदास श्रज्ञात कविकाशीराम मगनजी रघ लालदास नरपति नाल्ह ज्ञानवतीदेवी माण्डव्य मीरांबाई कुशलेश पृथ्वीनाथजी चन्दनदास स्वामी श्री सुदर्शणदासजी ( श्यामा सखी) देवभट्ट मंडनवि """ "1 हरिसेवक विप्र शृंगारोप नाम कवि कवि महेश. लिपिसमय पत्र संख्या २०वीं. श. ३ " 11 " 11 " 33 19 "} 11 " 71 १६८६ १६६० १६६१ २०वीं. श. "" १६६६ x x ४७ २० ४३ पेज ११० ४८ पेज विशेष विवरण प्रादि वीसलदेव रासागत छन्दोविन्मण्डनगत लि.क.- भगवानशर्मा चौमू निवासी धना लालात्मज 11 र.का.-१८७६ | लि.क. - गोपीचंद ( ? ) र.का. - १८४२ । लि.क - गोपीचंद शर्मा [ ६६ "
SR No.010606
Book TitleVidyabhushan Granth Sangraha Suchi
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGopalnarayan Bahura, Lakshminarayan Goswami
PublisherRajasthan Prachyavidya Pratishthan Jodhpur
Publication Year1961
Total Pages225
LanguageHindi
ClassificationCatalogue
File Size9 MB
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