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________________ फ्रायड ने इस बात का अन्वेषण किया कि व्यक्ति के वेतन से स्वतन्त्र बहुत सी मानसिक क्रियायें घटित होती है 121 सी०जी० युंग ने अचेतन के गहरे स्तरों की खोज की जहां उन्होंने सामूहिक चरित्र की प्रतीक और प्रतिभायें पायीं । वस्तुतः आधुनिक पाश्चात्य जगत में मानवीय चेतना पर विस्तृत अन्वेषण किये गये। पर्ल, गोल्डस्टीन, मफी, लेविन, गुडमैन, अल्पोर्ट आदि मनोवैज्ञानिकों ने "व्यतितत्व" के अध्ययन में चेतना के विविध स्तरों का उद्घाटन किया तथा व्यक्तित्व के विकास के लिए कई उपाय सुझायें । इन अध्ययन के आधार पर मानवीय व्यक्तित्व को इस रूप में प्रस्तुत किया 122 निम्न अवचेतन व्यक्तित्व का वह स्तर है जहाँ शारीरिक क्रियाओं को निर्देशित करने वाली प्रारम्भिक मनोवैज्ञानिक क्रियायें होती हैं । इनके अन्तर्गत मूल प्रवृत्ति, निम्नकोटि के स्वप्न और कल्पनायें भी सम्मिलित है । उच्च अवचेतन के क्षेत्र में उच्च अंतःप्रेरणायें और अंतःप्रज्ञा उपलब्ध होती है जैसे कलात्मक, दार्शनिक, वैज्ञानिक और नैतिक । इस क्षेत्र में उच्च क्रियायें और आध्यात्मिक अनुभव छिपे है । यह उच्च अनुभवों का उत्पत्ति स्थल हैं जैसे समाधि की अवस्था के अनुभव | चेतना का क्षेत्र व्यक्तित्व का वह भाग है जिससे हम प्रत्यक्षतः परिचित है । यह संवेदनाओं, प्रतिमाओं, विचारों, इच्छाओं और प्रवृत्तियों का सतत प्रवाह है जिसका हम निरीक्षण, विश्ले और निर्णय कर सकते हैं । चेतन आत्मा या अहं को बहुधा वेतन व्यक्तित्व से मिला दिया जाता है किन्तु दोनों में अन्तर है। चेतना, जो विचार, संवेदन व अनुभव का बदलता हुआ तत्व है. चेतन आत्मा से और असे भिन्न है, जो हमारी चेतना का केन्द्र है,
SR No.010238
Book TitleJain Gyan Mimansa aur Samakalin Vichar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAlpana Agrawal
PublisherIlahabad University
Publication Year1987
Total Pages183
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size7 MB
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