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________________ २४० मुनिकनकामर (करकण्डु चरिउ) कवि श्रीधर (पाश्र्वनाथ चरित्रकर्ता अमृतचन्द द्वितीय मल्लिषेण मलधारि लक्ष्मणदेव लघु अनन्त वीर्य (प्रमेय रत्नमालाकार) बालचन्द सिद्धान्तदेव प्रभाचन्द्र (मेघचन्द्र वैविध शिष्य) माधवसेन नाम के अन्य विद्वान वीरसेन पंडितदेव नरेन्द्रसेन (सिद्धान्तसार के कर्ता) कवि सिद्ध व सिंह (पज्जुण्णचरिउ के कर्ता) पद्मनन्दिवती (एकत्व सप्तति के कनडी टीकाकार) गिरिकोति (गोम्मटसार पंजिका के कर्ता) जैन धर्म का प्राचीन इतिहास-भाग २ मेघचन्द विद्यदेव शान्तिषेण अमरसेन श्रीषण नेमिचन्द्र श्रीधर (गणित सारकर्ता) वासवचन्द्र मुनीन्द्र देवेन्द्र मुनि नयकोति मुनि माणिक्यसेन पंडित महासेन पंडितदेव प्रभाचन्द्र (बालचन्द्र शिष्य) प्रभाचन्द्र (मेघचन्द्र विद्य शिष्य) प्रभाचन्द्र विद्य रामचन्द्र मुनि शिष्य
SR No.010227
Book TitleJain Dharm ka Prachin Itihas Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorParmanand Jain
PublisherRameshchandra Jain Motarwale Delhi
Publication Year
Total Pages591
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size65 MB
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