SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 513
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ दिगम्बर जैन साधु मुनि श्री रविसागरजी महाराज M 7 . . मुनि श्री रविसागरजी महाराज परिचय अप्राप्य ऐलक श्री भावसागरजी महाराज श्री ऐलक १०५ भावसागरजी के वचपन का नाम नाथूलालजी जैन था । आपका जन्म आज से लगभग ५५ वर्ष पूर्व बारा सिवनी ( म०प्र०) में हुआ था । आपके पिता श्री धर्मदासजी थे । जो सरकारी नौकरी करते थे । आपकी माता आनन्दवाई थी। आप गोलापूर्व जाति के भूषण हैं। आपकी धार्मिक एवं लौकिक शिक्षा साधारण एवं हिन्दी भाषा में हुई है। आप बाल ब्रह्मचारी रहे हैं। स्वाध्याय करने से आपके मानस में वैराग्य भाव उठे व आपने कार्तिक सुदी तेरस विक्रम संवत् २०२५ को जबलपुर में श्री १०८ मुनि सन्मतिसागरजी से ऐलक दीक्षा ले लो। आपने जबलपुर आरा आदि स्थानों पर चातुर्मास कर धर्म वृद्धि की ।
SR No.010188
Book TitleDigambar Jain Sadhu Parichaya
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDharmchand Jain
PublisherDharmshrut Granthmala
Publication Year1985
Total Pages661
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size31 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy