SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 11
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ १६६ व्यक्तित्व के विकास की सम्भावनाएँ डा० छविनाथ त्रिपाठी १५४ २८. महावीर की दृप्टि में स्वतन्त्रता का सही स्वरूप मुनि श्री नथमल १६० २६. व्यक्ति-स्वातन्त्र्य और महावीर डा. देवेन्द्र कुमार जैन १६७ ३०. महावीर-वाणी : सही दिशा-बोधं डा० प्रेम प्रकाश भट्ट ३१. आधुनिक दार्शनिक धारणाएं और महावीर पं० श्रुतिदेव शास्त्री १७४ ३२. अध्यात्मविज्ञान से ही मानवीय मूल्यों की प्रतिष्ठा सम्भव श्री देवकुमार जैन १७६ ३३. अहिंसा के पायाम : महावीर और गांधी श्री यशपाल जैन १८७ षष्ठ खण्ड वैज्ञानिक संदर्भ (१६३ से २१६) ३४. जैन दर्शन और वैज्ञानिक दृष्टिकोण मुनि श्री सुशीलकुमार १६५ ३५. आधुनिक विज्ञान और द्रव्य विषयक जैन धारणाएँ डा. वीरेन्द्र सिंह २०३ ३६. वैज्ञानिकी और तकनीकी विकास से उत्पन्न मानवीय समस्याएं और महावीर डा० राममूर्ति त्रिपाठी सप्तम्न खण्ड मनोवैज्ञानिक संदर्भ (२१७ से २५२) ३७. भगवान महावीर की वे वातें जो आज भी उपयोगी हैं श्री उमेश मुनि 'अणु' ३८. मनोविज्ञान के परिवेक्ष्य में भगवान् महावीर का तत्त्वज्ञान श्री कन्हैयालाल लोढ़ा २३१ ३६. महावीर ने कहासुख यह है, सुख यहाँ है डा० हुकमचन्द भारिल्ल २४१ २४१ ४०. मानसिक स्वास्थ्य के लिए महावीर ने यह कहा श्री यज्ञदत्त अक्षय ४१. अवकाश के क्षणों के उपयोग . . . . २४५ की समस्या और महावीर श्री महावीर कोटिया अष्टम खण्ड सांस्कृतिक संदर्भ (२५३ से ३१२) ४२. आधुनिक परिस्थितियाँ एवं भगवान महावीर का सन्देश डा० महावीर सरन जैन २११ २१६ २५०
SR No.010162
Book TitleBhagavana Mahavir Adhunik Sandarbh me
Original Sutra AuthorN/A
AuthorNarendra Bhanavat
PublisherMotilal Banarasidas
Publication Year
Total Pages375
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size20 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy