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________________ ३.५० सोधिनी टीका ५०.००४७. तीर्थकर भगवान डॉ. भारिल्ल के महत्त्वपूर्ण प्रकाशन १.समयसार : ज्ञायकभावप्रबोधिनी टीका ५०.००३९.मैं कौन हूँ २. समयसार अनुशीलन भाग-१ २५.०० ४०. निमित्तोपादान ३. समयसार अनुशीलन भाग-२ २०.००४१. अहिंसा : महावीर की दृष्टि में ५.०० ४.समयसार अनुशीलन भाग-३ २०.००४२.मैं स्वयं भगवान हूँ ४.०० ५. समयसार अनुशीलन भाग-४ २०.००४३. ध्यान का स्वरूप ४.०० ६. समयसार अनुशीलन भाग-५ २५.००४४.रीति-नीति ३.०० ७.समयसार कासार ३०.००४५. शाकाहार ३.०० ८.गाथा समयसार १०.००४६. भगवान ऋषभदेव ४.०० ९.प्रवचनसार:ज्ञानजे २.५० प्रवचनसार अनुशीलन भाग-१ ३५.००४८.चैतन्य चमत्कार ४.०० ११. प्रवचनसार अनुशीलन भाग-२ ३५.००४९. गोली का जवाब गाली से भी नहीं २.०० १२. प्रवचनसार अनुशीलन भाग-३ २५.०० ५०. गोम्मटेश्वर बाहुबली २.०० १३. प्रवचनसार कासार २०.००५१. वीतरागी व्यक्तित्व : भगवान महावीर २.०० १४. नियमसार अनुशीलन भाग-१ ५२. अनेकान्त और स्याद्वाद २.०० १५. छहढाला का सार ०५३. शाश्वत तीर्थधाम सम्मेदशिखर ५.०० १६. मोक्षमार्गप्रकाशक कासार १५.९०५४. बिन्दु में सिन्धु २.५० १७.४७ शक्तियाँ और ४७ नय ५५. जिनवरस्य नयचक्रम १०.०० १८. पंडित टोडरमल व्यक्तित्व और कर्तृत्व २०.००५ पश्चात्तापखण्डकाव्य ७.०० १९. परमभावप्रकाशक नयचक्र २०.००/१५. ५७. बारह भावना एवं जिनेन्द्र वंदना २.०० २०.चिन्तन की गहराइयाँ २०.० २१. तीर्थंकर महावीर और उनकासर्वोदय तीर्थ १५.००/५८.कुदकुंदशतक पद्यानुवाद १.०० २२. धर्म के दशलक्षण ५९. शुद्धात्मशतक पद्यानुवाद २३. क्रमबद्धपर्याय ६०.समयसार पद्यानुवाद १५.०० ६१. योगसार पद्यानुवाद ०.५० २४. बिखरे मोती १६.०० ६२. समयसार कलश पद्यानुवाद ३.०० २५. सत्य की खोज २०.०० २६. अध्यात्म नवनीत ६३. प्रवचनसार पद्यानुवाद ६४. द्रव्यसंग्रह पद्यानुवाद २७. आपकुछ भी कहो २८. आत्मा ही है शरण ६५. अष्टपाहुड़ पद्यानुवाद २९. सुक्ति-सुधा ६६.अर्चनाजेबी १८.० ३०. बारह भावना : एक अनुशीलन १५.००/६७.कुंदकुंदशतक (अर्थसहित) ३१. दृष्टि का विषय १०.००/६८. शुद्धात्मशतक (अर्थ सहित) ३२. गागर में सागर ७.००/६९. बालबोध पाठमाला भाग-२ ३३. पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव ८.००/७०.बालबोध पाठमाला भाग-३ ३.०० ३४. णमोकार महामंत्र : एक अनुशीलन १०.००/७१. वीतराग-विज्ञान पाठमाला भाग-१ ४.०० ४.०० ३५. रक्षाबन्धन और दीपावली ५.००/७२. वीतराग-विज्ञान पाठमाला भाग-२ ३६. आचार्य कुंदकुंद और उनके पंचपरमागम ५.००/७३. वीतराग-विज्ञान पाठमाला भाग-३ ४.०० ५.०० ३७. युगपुरुष कानजीस्वामी ५.००/७४. तत्त्वज्ञान पाठमाला भाग-१ ३८. वीतराग-विज्ञान प्रशिक्षण निर्देशिका १५.००/७५. तत्त्वज्ञान पाठमाला भाग-२ ६.०० २.५० १५oo १२. १५.० ३.०० १.५० १.२५ ३.०० ० ० ० ० ० ०
SR No.009474
Book TitleShakahar Jain Darshan ke Pariprekshya me
Original Sutra AuthorN/A
AuthorHukamchand Bharilla
PublisherTodarmal Granthamala Jaipur
Publication Year2009
Total Pages28
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size3 MB
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