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________________ ५२८ प्रश्नव्याकरणसत्र अथ मनुष्यपरिग्रह वर्णयति-परखार' इत्यादि मूलम् - बक्खार अकम्मभूमीसु सुविभत्तभागदेसासु कम्मभूमीसु । जे वि य नरा चाउरंतचकवही वासुदेवा वलदेवा मंडलिया इस्सरा तलवरा मेणावई इभा सेठिया रहिया पुरोहिया कुमारा दडणायगा गणणायगा भाडंविया सत्थवाहा कोडुपिया अमच्चा एए अण्णे य एवमादी परिग्गह संचिगंति-अणतमसरणं दुरतं अधुरमणिच्च असासय पावकम्मनेम अवकिरियन्त्र विणासमूल वहवध परिकिलेसबहुलमणंतसकिलेसकरणं । ते त धणकणगरयजनिचियपडिया चेव लोभत्था ललार अतिवयंति सव्वदुक्खसनिलवण । परिग्गहस्लेव य अहाए सिप्पसय सिक्खए बहुजणो कलाओ य बावत्तरिसुनिउणाओ लेहादियाओ सउणरुआवसाणाओ गणियप्पहाणाओ चउस िव महिलागुणे रइजणणे सिप्पसेव असिमसि किसिवाणिज ववहार अत्थसत्थ इसुसस्थ च्छरुप्पगय विविहाओ य जोगजुजणाओ । अन्नेसु य एवमाइएसु बहुकारणसएसु जावजीव नडिजए सचिणंति मदबुद्धी परिग्गहस्सेव य अट्टाए करेंति पाणाणवहकरण, अलियनियडि साइसपओगे परदव्य अभिज्झ सपरदार-गमणासेवणाए आयासविसूरण कलहभडणवेराणि य अवमाणविमाणणाओ । इच्छमहिच्छपिवाससतत तिलिया तण्हगेहिलोभत्था अत्ताण अनिग्गहिया करेंति कोहमाणमायालोभे अकित्तणिज्जे। परिग्गहे घवे
SR No.009349
Book TitlePrashna Vyakaran Sutram
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGhasilal Maharaj
PublisherA B Shwetambar Sthanakwasi Jain Shastroddhar Samiti
Publication Year1962
Total Pages1106
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari & agam_prashnavyakaran
File Size36 MB
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