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________________ श्रोहह धारणायंत्र। साधक अक्षर-तो तो। शक्षिक _ m+2019 Irti . नं.। साध्य तारा , योनिः । वर्गः। विशोपकः : गयः ! राशि । नाड़ी। स्वकीयं व्याघ्र त लयं राक्षस | विरुध्धं | १,२,४ । गौ । अ | दे०म० मिथुन अंत्यवेष १ ऋषभनाथ अशुभ श्रेष्ठ पादवेष २ : अजितनाथ अशुभ । सम वेष ३ संभवनाथ ४ अभिनंदन ५ : सुमतिनाथ श्रेष्ठतर | वेष पप्रप्रभु शुभ ७ सुपार्श्वनाथ अशुभ । एकभं चंद्रप्रभु स्वराशि सुविधिनाय श्रेष्ठ शीतलनाथ अशुभ भशुभ श्रेयांसनाथ पशुम । शुभ वासुपूज्य श्रेष्ठ विमलनाथ अशुभ शुभ अनंतनाथ अशुभ धर्मनाथ मध्यम शांतिनाथ " प्रीति कुंथुनाथ सम भवेष १६ अरनाथ १६ मल्लिनाथ मुनिसुव्रत शुभ वेध २१ । नमिनाय प्रीति नेमनाथ स्वगय शुभ २३ / पार्श्वनाथ मशुभ ! एकम २४ ! वर्धमान शुभ ,महावीरस्वामी राशि पतिः एकनाथ वश्य नक्षतं । युजि दृषिक मंगल मेष | ब्राझा सिंह | विशाखा मध्य . . १७ स्वगण वेध भीति २२ • •
SR No.008459
Book TitleBruhad Dharana Yantra
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDarshanvijay
PublisherCharitra Smarak Granthmala
Publication Year
Total Pages112
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari & Karma
File Size2 MB
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