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________________ २४ उपासकदशांग : एक परिशीलन गुजराती अनुवाद भी दिया है। अनेकानेक विशेषताओं से युक्त इस ग्रन्थ में अनेक पारिभाषिक शब्दों की विस्तृत व्याख्या भी दी गयी है। हालाकि शब्दों में शुद्धता का अभाव है, किन्तु भाषा और व्याख्या की दृष्टि से यह ग्रन्थ उपयोगी है। ६. उपासकदशांग-सूत्रम् आत्माराम जी म० सा० द्वारा जैन प्रकाशन समिति, लुधियाना से ईस्वी संवत् १९६४ में प्रकाशित हुआ है । इस ग्रन्थ में मूल व संस्कृत छाया के साथ-साथ अन्वयार्थ भी है व बाद में हिन्दी अनुवाद व व्याख्या भी है। उपरोक्त विवेचनाओं के साथ ग्रन्थ की भूमिका बहुत उपयोगी है। ७. उपासकदशांगसूत्र-श्री घीसूलाल पितलिया द्वारा श्री अखिल भारतीय साधुमार्गी जैन संस्कृति रक्षक संघ, सैलाना द्वारा ईस्वी सन् १९७७ में प्रकाशित हुआ है। इसमें मूल के हिन्दी अनुवाद के साथ-साथ संक्षिप्त विवेचन भी आख्यायित किया गया है। सामान्य जिज्ञासु पाठकों के लिए यह उपयोगी है। ८. उवासगदसाओ-श्री अभयदेवसूरि द्वारा टोकानुवाद सहित पं० भगवानदास हर्षचन्द द्वारा विक्रम संवत् १९९२ में प्रकाशित हुआ है। यही जैनानन्द पुस्तकालय गोपीपुरा, सूरत द्वारा भी प्रकाशित है। इसमें मल, अनुवाद व संस्कृत टीकार्थ है। इसके मल में 'वण्णओ' की जगह 'वणओ' व 'बहिया' की जगह 'वहियो' शब्द प्रयुक्त है। ९. अंगसुत्ताणि-भाग १, २, ३ आचार्य तुलसी व मुनिनथमल द्वारा जैन विश्व भारती, लाडनूं द्वारा संवत् २०३१ में प्रकाशित हुआ है । इस अंगसुत्ताणि भाग ३ में उपासकदशांगसूत्र का मूल है। अर्थ व व्याख्या इसमें नहीं दी गयी है। इसकी एक ही विशेषता है कि मुनि नथमल जी ने विभिन्न पाण्डुलिपियों के आधार पर अपना सम्पादित पाठ दिया है व साथ में आवश्यकतानुसार पाठान्तर भी दिये हैं। १०. उपासकदशांग-सम्पादक डॉ० जीवराज धोला भाई दोशी, अहमदाबाद द्वारा प्रकाशित हुआ है। ११. उपासकदशांगसूत्र-पं० मुनि अमोलक ऋषि म० सा० द्वारा जैन संघ, हैदराबाद से वीर संवत् २४४२ से ४६ तक प्रकाशित हुआ है । ग्रन्थ में मूल व हिन्दी अनुवाद ही है । मूल शब्दों में अशुद्धियाँ बहुत हैं । Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.002128
Book TitleUpasakdashanga aur uska Shravakachar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSubhash Kothari
PublisherAgam Ahimsa Samta Evam Prakrit Samsthan
Publication Year1988
Total Pages258
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Agam, & Canon
File Size9 MB
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